
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अवधनामा संवाददाता
बाजार -अयोध्या। सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के कर्मचारी सरवत रसूल अहमद बी.पी.यम.ने कहा उप स्वास्थ्य केंद्रों की जानकारी गोपनीय बिना अधीक्षक के आदेश के नहीं दी जाएगी, उप स्वास्थ्य केंद्रों की जानकारी। किस ग्राम पंचायत में कौन कर्मचारी कार्यरत है। सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र एक प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र तीन उप स्वास्थ्य केंद्र 21कुल 25 यूनिट काम करती हैं । लेकिन उप स्वास्थ्य केंद्रों पर पहुंचने पर वहां कुछ और ही दिखा। आपको बताते चलें कि राज्य और केंद्र सरकार जहां स्वास्थ्य सेवाओं के स्तर में सुधार की कोशिश के लिए स्वास्थ्य उप केंद्रों पर फोकस किया।वही स्वास्थ्य उप केंद्रों के तहत झोलाछाप व्यवस्था को खत्म करने का कवायद कर रही है । तो विकासखंड मया में आला अधिकारियों ने सुविधा शुल्क लेकर व्यवस्था को धराशाई करने में लगे हैं सूत्रों की माने स्वास्थ्य विभाग ने ग्रामीण क्षेत्रों में संचालित प्राथमिक व सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों का दबाव कम करने के साथ छोटे-मोटे मर्ज के लिए अस्पताल की दौड़ न लगानी पडे। मरीजों को राहत देने के लिए मिनी अस्पताल की परिकल्पना के साथ स्वास्थ्य उप केंद्रों की स्थापना की थी ।बीमारियों में तत्काल उपचार की सुविधा दिए जाने के उद्देश्य से जिसमें सर्दी-खांसी, बुखार, उल्टी- दस्त , बच्चों या बड़ों को चोट लग गई, कट- फट गया तो मरहम पट्टी और दवा उपलब्ध कराया जा सके इसके अलावा जरूरत पड़ी तो मरीज को मिनी अस्पताल में गिव एनी ग्लूकोज की बोतल चढ़ाने की सुविधा भी यहां उपलब्ध कराई जा सके इस परिकल्पना के तहत स्वास्थ्य उप केंद्रों की स्थापना की गई थी। ग्रामीण क्षेत्रों में चिकित्सा सुविधाएं जैसे प्रसव जांच प्रसव प्रक्रिया आकस्मिक उपचार के लिए उपकरण जैसे बेड कुर्सी मेज कंबल समेत अन्य व्यवस्थाएं लुप्त पराय हो गई है ।
आपको बता दें सरैया ग्राम पंचायत में स्वास्थ्य उप केंद्र में आंगनबाड़ी संचालित होता है। कार्यरत कर्मचारी वंदना भारती सेनपुर से व प्रियंका आजमगढ़ से टीकाकरण में आती हैं । स्वास्थ्य उपकेंद्र बीकापुर मे ग्रामीणों ने आवास बना लिया है। एएनएम अनीशादेवी वेतन 30 दिनों का ड्यूटी एक दिन मे निपटाया करती है। स्वास्थ्य उपकेंद्र कुम्हिया ग्राम पंचायत द्वारा लाखों से अधिक रुपए लगाकर भवन का सुंदरीकरण कराया लेकिन कार्यरत कर्मचारी के लापरवाही से खंडहर में तब्दील हो गया है। सूत्रों की माने तो वहां कार्यरत एएनएम वंदना देवी ने लिखित में अधीक्षक को दिया है। कि स्वास्थ्य उपकेंद्र कुम्हिया पर वह कार्य नहीं करेंगी। स्वास्थ्य उपकेंद्र सामंथा मे जहां पर लोगों को स्वास्थ्य सुविधाएं दी जानी थी। वही पर अराजक तत्वों द्वारा प्रतिबंधित नशाखोरी का अड्डा बना हुआ है। दीवाल पर लिखा गया है।जो नशा करते हुए यहां पर पकड़ा जाएगा उसके विरुद्ध दंडात्मक कार्रवाई की जाएगी थाना महाराजगंज। दीवारों पर आप शब्द के प्रयोग भी किए गए हैं। वही अधिकारियों पर सुबिधा शुल्क लेकर सरकार की मंशा पर पानी फेरने का आरोप ग्रामीणों द्वारा लगाया जा रहा है।
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