बिलग्राम (हरदोई)। कहते हैं, जो अपने अतीत को सहेजता है, वही भविष्य को सही दिशा देता है। इसी सोच को साकार कर रहे हैं बिलग्राम पत्रकार एसोसिएशन के अध्यक्ष कमरुल खान, जो इन दिनों अपने क्षेत्र के गौरवशाली इतिहास को जीवंत करने में जुटे हुए हैं।
कमरुल खान अपनी फेसबुक आईडी के माध्यम से लगातार बिलग्राम के इतिहास, संस्कृति, पुरानी परंपराओं और महान व्यक्तित्वों पर आधारित पोस्ट और कहानियाँ साझा कर रहे हैं। उनकी ये पोस्ट न सिर्फ़ सोशल मीडिया पर वायरल हो रही हैं, बल्कि लोगों में इतिहास जानने की उत्सुकता भी बढ़ा रही हैं।
लोगों का कहना है कि कमरुल खान जिस मेहनत और लगन से पुराने दस्तावेज़, तस्वीरें और ऐतिहासिक तथ्यों को एकत्र कर रहे हैं, वह काबिल-ए-तारीफ़ है। बहुत से बुज़ुर्गों ने बताया कि “हमारे पुरखों की बातें अब फिर से याद आ रही हैं, जो धीरे-धीरे भुला दी गई थीं।”
युवाओं में भी कमरुल खान के इस अभियान को लेकर जबरदस्त उत्साह देखने को मिल रहा है। वे न सिर्फ इतिहास को जान रहे हैं, बल्कि अपने शहर के प्रति गौरव और जुड़ाव की भावना भी महसूस कर रहे हैं।
बिलग्राम के लोगों ने कहा कि कमरुल खान ने जो काम शुरू किया है, वह आने वाली पीढ़ियों के लिए धरोहर बन जाएगा। उनके प्रयासों से बिलग्राम का नाम न केवल जिले में, बल्कि पूरे प्रदेश में एक ऐतिहासिक और सांस्कृतिक नगर के रूप में उभर रहा है।
पत्रकार जगत के लोग भी कमरुल खान के इस कार्य को “पत्रकारिता का सच्चा स्वरूप” बता रहे हैं — जहाँ खबरों के साथ-साथ समाज की विरासत को सहेजना भी पत्रकार की ज़िम्मेदारी होती है।
इतिहास मिटता नहीं, अगर कोई उसे सहेजने वाला हो — और आज बिलग्राम में यह काम कर रहे हैं कमरुल खान।





