अवधनामा ब्यूरो
नई दिल्ली. कोरोना काल में कोविड-19 एक्ट का उल्लंघन करने का इल्जाम झेलने वाले तब्लीगी जमात के 35 सदस्यों को दिल्ली की साकेत कोर्ट ने पासपोर्ट जारी करने का आदेश दिया है. साकेत कोर्ट ने जमातियों को इल्जाम से भी बरी कर दिया है.
मार्च 2020 में दिल्ली के निजामुद्दीन मरकज़ में जमा हुए दुनिया भर के जमातियों पर कोरोना महामारी फैलाने का इल्जाम लगाया गया था. कई देशों के जमातियों से जुर्माना भरवाने के बाद ही उन्हें उनके देश जाने दिया गया था.
निजामुद्दीन मरकज़ में 67 देशों के जमाती तबलीग में शामिल होने के लिए आये थे. दिल्ली पुलिस ने विदेशी जमातियों के पासपोर्ट ज़ब्त कर लिए थे. जमातियों पर वीजा नियमों का उल्लंघन करने और भारत में कोरोना फैलाने के इल्जाम लगाए गए थे.
हालांकि मरकज़ की ओर से बताया गया था कि कोविड गाइडलाइंस जारी होते ही मरकज़ की तरफ से निजामुद्दीन थाने को लिखित में सूचना दी गई थी कि इतने देशों के जमाती मरकज़ में मौजूद हैं. इन्हें यहाँ से भिजवाने के लिए वाहनों की व्यवस्था की जाए लेकिन दिल्ली पुलिस और प्रशासन ने कुछ भी नहीं किया.
यह भी पढ़ें : सीबीआई ने बढ़ाई ममता की मुश्किलें, भतीजे को समन
यह भी पढ़ें : राम मन्दिर के लिए मुलायम की बहू से चेक लेने उनके घर पहुंचे आरएसएस नेता
यह भी पढ़ें : नीतीश कुमार बिहार में फिर शुरू करेंगे जनता दरबार
यह भी पढ़ें : अपर्णा ने दिया राम मन्दिर को चंदा तो अखिलेश ने कहा
मरकज़ की तरफ से बताया गया था कि लॉकडाउन लग जाने की वजह से जमातियों को वापस जाने के लिए पास की ज़रूरत थी लेकिन किसी भी जमाती के लिए पास नहीं मुहैया कराया गया. इस सम्बन्ध में थाने के अलावा एसडीएम को भी लिखित दिया गया था.