लोग पर्यावरण के हितों में कार्य करे और उसकों सेल्फ़ी लेकर सोशल मीडिया पर पोस्ट करे और हर दिन नेचर सेल्फ़ी डे बना दे ।

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ABHISHEK CHATURVEDI…………………….
हर दिन को नेचर सेल्फ़ी डे बनायें : कुलपति डॉ० भट्ट
वृक्ष न रहे तो हम एंटीक फर्नीचर कहॉ से लायेंगे : रूपक डे
केजीएमयू में मनाया गया विश्व पर्यावरण दिवस


लखनऊ । राजधानी के किंग जार्ज मेडिकल यूनीवर्सिटी में सोमवार को विश्व पर्यावरण दिवस को संगोष्ठी, रैली, नुक्कड़ नाटक तथा वृक्षारोपण का कार्यक्रम आयोजित किया गया । केजीएमयू के कुलपति एम एल बी भट्ट डॉ० और प्रधान मुख्य वन संरक्षक रूपक डे के नेतृत्व में पर्यावरण दिवस मनाया गया । सुबह सवेरे केजीएमयू के विद्यार्थियों ने कुलपति अॉफिस के सामने वृक्षारोपण कर विश्वविद्यालय के पर्यावरण विभाग तक जागरुकता रैली निकाली और वहॉ भी वृक्षारोपण किया । इसके बाद रैली कलाम सेण्टर तक पहुंची जहॉ विद्यार्थियों ने नुक्कड़ नाटक का आयोजन किया तत्पश्चात् पर्यावरण विषय पर संगोष्ठी का आयोजन किया गया ।
संगोष्ठी को सम्बोधित करते हुए कीर्ति श्रीवास्तव ने कहा कि आज की संगोष्ठी का विषय कनेक्टिंग पीपुल्स टू नेचर है जिसका उद्देश्य मानवों को प्रकृति से जोड़ना है । प्लास्टिक के बढ़ते असर को रोकने की अपील करते हुए कहा कि प्लास्टिक का उपयोग बढ़ता जा रहा है जो पर्यावरण और मानव के लिये उचित नहीं है ।
केजीएमयू के कुलपति डॉ एम एल बी भट्ट ने मीडिया को धन्यवाद देते हुए कहा कि इनकें माध्यम पूरे देश में सूचनाएं प्रदान की जाती है । पेड़ पौधों की लगातार कटाई पर चिन्ता जाहिर करते हुए कहा कि जरूरत पड़ी तो जुलाई में फिर से वृक्षारोपण कार्यक्रम चलाया जायेगा ।  प्रधान मुख्य वन संरक्षक रूपक डे की सराहना करते हुए कुलपति भट्ट ने कहा कि इनकों 22 देशों ने सम्मानित किया है और ये आज भी एक जिज्ञासू की तरह कार्य कर रहे है । अॉक्सीजन सिलेण्डर का उदाहरण देते हुए कहा कि प्रतिव्यक्ति तीन अॉक्सीजन सिलेण्डर की आवश्यकता प्रत्येक मानव को प्रतिदिन होती है और वृक्ष ही हमें प्राणवायु प्रदान करते है । उन्होनें कहा कि पर्यावरण की सुरक्षा के लिये हर व्यक्ति अपने घर में रखे प्लास्टिक और इलेक्ट्रानिक्स उत्पाद काम के न रहने पर स्वयंसेवी संस्थाओं को दे न कि घर से बाहर फेंक दे, जिससे कि उन उत्पादों से प्लास्टिक और इलेक्ट्रानिक्स को अलग कर बॉयोलॉजिकल बनाया जा सके । पर्यावरण सुरक्षा की सलाह देते हुए कहा कि लोग पर्यावरण के हितों में कार्य करे और उसकों सेल्फ़ी लेकर सोशल मीडिया पर पोस्ट करे और हर दिन नेचर सेल्फ़ी डे बना दे ।
प्रधान मुख्य वन संरक्षक रूपक डे ने कहा कि यदि यूपी एक देश होता तो ये दुनिया का छठवॉ देश होता । हमारे पास जितनी आबादी और क्ष्रेत्रफल है उसका संरक्षण कर सकने पर हम दुनिया की छठवीं बड़ी ताकत बन सकते है । पेड़ पौधों की उपयोगिता याद कराते हुए डे ने कहा कि आज जिस एंटीक लकड़ी के फर्नीचर पर बैठ कर हम इतराते है, कल वो कहॉ से प्राप्त होंगे । डॉ० भट्ट के सोशल मीडिया वाले बयान पर पलटवार करते हुए रूपक डे ने कहा कि प्रतिदिन वाट्सअप इत्यादि पर गुड मार्निंग जैसे मैसेज किसी नेचर से जुडी चीज के साथ जुड़ कर आते है परंतु 90 प्रतिशत लोग गो टू हैल जवाब लिख देते है, जिससे पता चलता है कि लोग पर्यावरण पर कितना सोचते है और कितने जागरुक है ।

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