एस. एन. वर्मा
पाकिस्तान में आर्थिक हालात के साथ राजनैतिक हालात भी अफसोसनाक होते जा रहे है। पड़ोसी देश है कभी अपना ही हिस्सा था दुख होता है देख सुनकर पाकिस्तान सरकार पहले तो इमरान से देश की खातिर सुलह सफाई की बात कर रही थी। लगता था दोनो का टकराव शान्त हो जायेगा। पर सरकार सुलाह सफाई की बात से मोड़ लेकर इमरान खां और उनकी पार्टी तहरीक ए इंसाफ के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है तो इमरान खां और उनकी पार्टी ने सरकारी मशीनरी के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई है। सरकार इमरान की पार्टी को प्रतिबन्धित करने पर भी विचार कर रही है।
18 मार्च को इमरान पेशी के लिये कोर्ट पहुचे थे। इस्लामाबाद कोर्ट परिसर में हिंसा, तोड़तोड़, सुरक्षा बलों पर हमले के आरोप में पुलिस ने इमरान खां और उनकी पार्टी के 17 नेताओं के खिलाफ आतंकवाद का केस दर्ज किया है। तोशखाना केस के सिलसिले में जब इमरान खां कोर्ट पहुंचे तो उनके समर्थकों ने कोर्ट के नज़दीक पथराव और आगजनी की थी। दोनो तरफ से टकराव इतना भीषण रूप ले लिया कि कोर्ट को पेशी टालनी पड़ी। कोर्ट ने इमरान से हाजिरी राजिस्टर पर दस्तखत करवाया और उन्हें लौटा दिया।
इन्ही हालात के बीच सरकार इमरान की पार्टी को प्रतिबन्धित करने पर विचार शुरू कर दिया है। चूूकि यह कानूनी मुद्दा है इसलिये न्याय विशेषज्ञों से विचार विमर्श किया जा रहा है। पुलिस ने 18 मार्च को जब उनके घर गयी थी तो वहां से हथियार और पेट्रोल बम बरामद करने का दावा किया है। पाकिस्तान के गृहमंत्री का कहना था वहां आतंकवादी छिपे हुये थे। पाकिस्तान की एक महिला पत्रकार ने लिखा था। जिन लोगो ने इमरान घर पुलिस पर हमला किया था। वे प्रशिक्षित गुरिल्ला थे वे बाहर से बुलाये गये थे। कितना सच है मालुम नहीं।
इमरान और पार्टी नेताओं पर सुरक्षा बलों पर हमला करने के साथ-साथ तोड़फोड़ करने का भी आरोप है। समर्थकों के पथराव और आगजनी की वजह से 25 पुलिस वालों के घायल और 9 गाड़ियों को फूकने का आरोप है। 18 मार्च के हिंसा में कोर्ट के गेट और चेक पोस्ट को नुकसान पहुचाने के जुर्म में 18 लोग पहले ही गिरफ्तार किये जा चुके है। इस तरह देख रहे है दोनो तरफ माहौल बहुत बिगड़ा हुआ और तल्ख है। इन लोगो की लड़ाई में जनता पूरी तरह पिस रही है।
पार्टी का आरोप है कि लाहौर में 18 मार्च को इमरान के जमान पार्क स्थिति मकान पर चला गया पुलिस आपरेशन अवैध है। तहरीक ए इन्साफ पार्टी घर में हिंसा बेकसूर लोगो का प्रताड़ित करने और तोड़फोड़ करने वाले पुलिस कर्मियों पर एफआईआर करायेगी। पार्टी के एक सीनियर अधिकारी ने पुलिस पर चोरी का भी आरोप लगा रहे है। उनका कहना है पुलिस जूस की पेटी चुरा ले गई। इस कारवाई को पुलिस द्वारा हाईकोर्ट के फैसले की अवहेलना किया जाने का आरोप लगा रहे है।
इमरान कब से कह रहे है मुझे मारने की साजिश रची जा रही है। इसलामाबाद कोर्ट परिसर में भी मेरे खिलाफ दो योजनाओं की साजिश हो रही थी। मुझे मारने की और गिरफ्तार करने की तहरीक ए इन्साफ के प्रमुख की हैसियत से इमरान खां ने 22 मार्च को मीनार ए पाकिस्तान में इन सब कारवाईयों के खिलाफ बड़ी रैली करने का एलान किया है। इमरान का कहना है वह जब भी बाहर जाते है मेरे खिलाफ एक एफआईआर दर्ज हो जाती है।
पाकिस्तान में इमरान की लोकप्रियता को नकारा नहीं जा सकता। पार्टी का उनके पीछे जमके खड़ा होना इसका सबूत है। जनता पीपी सरकार की नाकामियों और अपने परेशानियों से सरकार से नाराज है कोई बड़ा कदम शासन की ज्यादतियों के डर से नही उठा पा रही है। क्योकि वहां कहने को लोकतन्त्र है। सरकार से असहमति का मतलब प्रताड़ना या सजा। पाक का इतिहास है सेना का सरकार में इतना दखल है कि सरकार उनके ही इशारे पर चलती है। नहीं तो सैनिक विद्रोह हो जायेगा या सरकार के मुखिया को जेल भेज दिया जायेगा या मौत की गोद में सुला दिया जायेाग। नहीं तो वहां नूरा कुश्ती चलती रहती है सेना मौज करती रहती है। पाकिस्तानी सेना और नेताओं को समझ लेना चाहिये यह रस्साकशी अब अन्तिम नतीजे की ओर बढ़ रही है। दोनो को नुकसान होगा, जनता तो भुगत ही रही है। संविधान के अनुसार सभी अपनी सीमा में रहकर सही लोकतन्त्र बहाल करें। आप भी सुखी रहे, जनता भी सुखी रहे पडोसी भी सुखी रहें। एक दूसरे पर आरोप लगाने के बजाय मिलजुल कर रास्ता ढूढे। एफआईआर के बदले में एफआईआर से कोई समस्या हल नहीं होने वाली है।