अवधनामा संवाददाता
अगर दिखाई दें टीबी के लक्षण तो तुरंत कराएं जांच
बाराबंकी। देश को वर्ष 2025 तक क्षय रोग यानि टीबी मुक्त बनाने के लिए जहां एक ओर संभावित टीबी मरीजों की खोज कर उनका इलाज किया जा रहा है वही इलाजरत टीबी मरीजों को गोद लेकर उन्हें पौष्टिक आहार भी दिया जा रहा है। इसी क्रम में राष्ट्रीय क्षय उन्मूलन कार्यक्रम के अंतर्गत जनपद के हेल्थ वेलनेस सेन्टर शाहपुर में जंहगीराबारद के सीएचसी अधीक्षक डॉ अविचल भटनागर ने 10 टीबी मरीजों को पोषण आहार किट वितरित करते हुए लोगों को क्षय रोग से बचाव के बारे में जानकारी दी।
इस दौरान सीएचसी अधीक्षक डॉक्टर भटनागर ने क्षय रोगियों को पोषण सामग्री प्रदान करते हुए बताया, कि मरीजों के सम्पूर्ण इलाज के साथ ही उन्हें पोषक आहार भी प्रदान किया जा रहा है ताकि वह जल्दी स्वस्थ बन सके। उन्होंने बताया, कि टीबी रोगियों की जाँच व इलाज के लिए लगातार अभियान चलाया जा रहा है।
उन्होने बताया कि टीबी का इलाज संभव है। पूरा कोर्स करने पर साधारण टीबी का मरीज छह माह में स्वस्थ हो सकता है ।
जिला कार्यक्रम समन्वयक शिप्रा सिंह ने बताया कि टीबी रोग की प्रारंभिक अवस्था में रोकथाम न करने से यह जानलेवा साबित हो सकता है। इसलिए लक्षण होने पर जांच व इलाज शुरू हो जाना चाहिए।
पीपीएम जिला समन्वयक रितेश कुमार सिंह ने बताया कि छह प्रकार के लक्षण दिखाई दें तो कतई नजरंदाज न करें। इनमें दो सप्ताह या उससे अधिक समय से खांसी व बुखार आना। खांसी के साथ बलगम या बलगम के साथ खून आना। वजन का घटना। सीने में दर्द, रात में बेवजह पसीना आना।
इस कार्यक्रम में सीनियर ट्रीटमेंट सुपरवाइजर जितेन्द्र कुमार, सीएचओ सुधा वर्मा, जिला पीपीएम समन्वयक, आशा कार्यकर्ता व लाभार्थीगण सहित आदि लोग मौजूद रहे।