नागरिकता संशोधन कानून और एनआरसी के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे जामिया के छात्रों ने बुधवार को क्रमिक भूख हड़ताल शुरू कर दी। छात्रों ने नागरिकता कानून वापस लेने सहित सात मांगें रखी हैं।
भास्कर डॉट कॉम पर छपी खबर के अनुसार, जामिया मिलिया इस्लामिया विश्वविद्यालय के छात्रों के विरोध प्रदर्शन का बुधवार 20वां दिन था। देर शाम को स्वरा भास्कर के साथ जीशान अयूब और पूर्व सांसद पप्पू यादव समर्थन देने के लिए जामिया के गेट नंबर सात पर पहुंचे।
Thanks for these shots from #JamiaProtests on New Year’s Day #MohdAram #AmbientPictures pic.twitter.com/6JenST2Dlf
— Swara Bhasker (@ReallySwara) January 2, 2020
स्वरा भास्कर ने कहा कि मोदी सरकार देश की आवाज का दमन कर रही है। इसे किसी भी कीमत पर बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
भूख हड़ताल पर बैठे छात्रों की अन्य मांगों में देश भर में विरोध प्रदर्शन के दौरान हुई मौतों की निष्पक्ष जांच कराने, पुलिस हिरासत में लिए गए प्रदर्शनकारियों (जो हिंसा में शामिल नहीं थे) को रिहा करने, शांतिपूर्वक प्रदर्शनों में शामिल रहे लोगों के खिलाफ हुई एफआईआर वापस लेने, हिंसा के शिकार प्रदर्शनकारियों को मुआवजा देने, इंटरनेट सेवाएं सुचारु करने जैसी मांगें शामिल हैं।
नागरिकता संशोधन अधिनियम और NRC के विरोध में आज 19वां दिन है जामिया के सड़को पर लोग डटे हुए हैं @ReallySwara सोलिडेरिटी देने जामिया पहुंची लोग फासीवादी सरकार का विरोध करने के लिए डटे हुए हैं।#IndiaAganistCAA #JamiaMilliaIslamia pic.twitter.com/d2gjMB2Wcm
— Salman Reyaz (@salmanreyaz) January 1, 2020
नागरिकता कानून के विरोध में हुई हिंसा के मामले को जांच कर रही एसआईटी की टीम
बुधवार सुबह जामिया नगर पहुंची। लोगों से बातचीत में पुलिस टीम को पता लगा उपद्रवियों में भारी संख्या में बाहरी लोग थे।
शाम को लोकल पुलिस के अधिकारी एसआईटी बैठक में पहुंचे, जहां उन्होंने जांच अधिकारियों को पूरे घटनाक्रम से अवगत कराया। पुलिस को शक है कि दिल्ली में भी हुई हिंसा के पीछे पीएफआई नाम के संगठन का हाथ हो सकता है।
न्यू फ्रेंड्स कॉलोनी थाने और जामिया नगर व शाहीन बाग में ही बुधवार शाम तक लगभग 70 लोगों ने शिकायत दे दी थी।
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