अवधनामा ब्यूरो
नई दिल्ली. अपने रिश्तेदारों से मुलाक़ात करने पाकिस्तान गईं हसीना बेगम को वतन वापसी के लिए 18 साल इंतज़ार करना पड़ा. यह 18 साल मुश्किलों भरे साल थे. इस दौरान उन्हें जेल में रहना पड़ा.
औरंगाबाद की रहने वाली हसीना बेगम अपने रिश्तेदारों से मुलाक़ात करने 18 साल पहले पाकिस्तान गई थीं लेकिन वहां उनका पासपोर्ट खो गया. पासपोर्ट न होने की वजह से पाकिस्तान पुलिस ने उन्हें लाहौर जेल भेज दिया.
जेल में रहते हुए हसीना बेगम की कोई सुनवाई नहीं हुई. इस सम्बन्ध में औरंगाबाद पुलिस ने रिपोर्ट दर्ज कराई. रिपोर्ट दर्ज होने के बाद यह मामला जब पाकिस्तान की कोर्ट में पहुंचा तब सुनवाई शुरू हुई.
पाकिस्तान की अदालत ने सुनवाई के बाद यह पाया कि हसीना बेगम बेगुनाह हैं और पासपोर्ट खो जाने की वजह से पुलिस ने उन्हें गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है. अदालत ने जांच करवाई तो पता चला कि हसीना बेगम भारत के औरंगाबाद की रहने वाली हैं. उनकी शादी सहारनपुर निवासी दिलशाद अहमद से हुई है. जहाँ उनके नाम पर घर भी है.
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अदालत के आदेश पर उन्हें जेल से रिहा कर भारत के अधिकारियों को सौंप दिया गया.65 साल की हसीना बेगम हिन्दुस्तान पहुंचकर रो पड़ीं. उन्होंने कहा कि बगैर किसी गुनाह के उन्हें 18 साल जेल के सीखचों में गुज़ारने पड़े. रिपोर्ट दर्ज कराने के लिए उन्होंने औरंगाबाद पुलिस का शुक्रिया अदा किया.