उरई (जालौन)।कलेक्ट्रेट सभागार में आयोजित वर्चुअल बैठक के माध्यम से जिलाधिकारी राजेश कुमार पाण्डेय ने जनपद में उर्वरक की उपलब्धता तथा मूंग क्रय केंद्रों की प्रगति की गहन समीक्षा की। बैठक में उपस्थित संबंधित अधिकारियों को उन्होंने स्पष्ट निर्देश दिए कि जनपद के किसी भी किसान को उर्वरक के लिए भटकना न पड़े। उन्होंने कहा कि प्रत्येक समिति पर खाद की समुचित एवं समयबद्ध आपूर्ति सुनिश्चित की जाए। जिलाधिकारी ने कहा कि वर्तमान में जनपद में उर्वरक का पर्याप्त भंडार उपलब्ध है, जिसमें यूरिया 12,179 मीट्रिक टन, डीएपी 6,586 मीट्रिक टन, एमओपी 19 मीट्रिक टन, एसएसपी 1,110 मीट्रिक टन एवं एनपीके 2,599 मीट्रिक टन शामिल है।
उन्होंने निर्देश दिए कि खाद की मांग वाले क्षेत्रों में प्राथमिकता पर आपूर्ति की जाए, जिससे किसानों को समय पर आवश्यक उर्वरक प्राप्त हो सके।कालाबाजारी की रोकथाम को लेकर जिलाधिकारी ने मध्य प्रदेश सीमा से लगे क्षेत्रों में विशेष सतर्कता बरतने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि तस्करी एवं अवैध बिक्री को रोकने के लिए एक विशेष निगरानी दल गठित किया जाए। साथ ही यह भी सुनिश्चित किया जाए कि खुदरा दुकानों पर किसानों को केवल निर्धारित दरों पर ही खाद उपलब्ध हो और ओवररेटिंग की कोई शिकायत न मिले।
मूंग क्रय केंद्रों की समीक्षा करते हुए जिलाधिकारी ने निर्देश दिए कि प्रत्येक केंद्र पर सत्यापन उपरांत ही मूंग की खरीद की जाए। उन्होंने बिचौलियों पर सख्त निगरानी रखने और पारदर्शिता सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। इस संबंध में एक शिकायत नियंत्रण नंबर 05162-257090 भी जारी किया गया है, जिस पर किसान अपनी शिकायत दर्ज कर सकते हैं, और उस पर त्वरित कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी।
एआर कोऑपरेटिव विजय वर्मा ने बैठक में अवगत कराया कि वर्तमान में जनपद में 17 क्रय केंद्र क्रियाशील हैं, जहां किसानों से मूंग की खरीद की जा रही है। जिलाधिकारी ने केंद्र प्रभारियों को निर्देश दिए कि सभी केंद्र नियमित रूप से संचालित रहें और किसानों को मूंग विक्रय में किसी प्रकार की कठिनाई न हो। इसके लिए पंजीकरण प्रक्रिया पहले से ही सुव्यवस्थित रखी जाए, ताकि कोई भी किसान विक्रय से वंचित न रह जाए।
इस अवसर पर अपर जिलाधिकारी (वित्त एवं राजस्व) संजय कुमार, समस्त उप जिलाधिकारी, जिला कृषि अधिकारी गौरव यादव, प्रबंधक पीसीयू, क्रय केंद्र प्रभारी सहित अन्य संबंधित अधिकारी उपस्थित रहे।