छात्र-छात्राओं ने रामायण कालीन विभिन्न कथाओं को कैनवास पर उतारा

0
127

 

Students brought different stories from Ramayana carpet on canvas

अवधनामा संवाददाता

अयोध्या (Ayodhya)। डाॅ0 राममनोहर लोहिया अवध विश्वविद्यालय फाईन आर्ट्स संस्थान तथा अर्थशास्त्र एवं ग्रामीण विकास विभाग के संयुक्त तत्वावधान मे ’’अयोध्या के सौन्दर्यीकरण’’ से सम्बंधित चल रही ’’राष्ट्रीय आयल पेन्टिंग कार्यशाला’’ में प्रतिभागी छात्र-छात्राओं ने रामायण कालीन विभिन्न कथाओं में बाल रूप श्रीराम, अशोक वाटिका में माता सीता का म्यूरल पद्धति में चित्राकंन एवं रंगाकंन कैनवास पर किया गया। कार्यक्रम की संयोजिका डाॅ0 सरिता द्विवेदी ने बताया कि इस कार्यशाला के माध्यम से छात्र-छात्राएं श्रीराम के जीवन चरित्र से भली-भाँति परिचित होंगे और उनके उद्देश्यों को अपने जीवन में चरितार्थ करेंगे।  कार्यक्रम की आयोजन सचिव पल्लवी सोनी ने छात्र-छात्राओं को एक्रेलिक रंग से म्यूरल पेन्टिग करने की तकनीक जिसमें पैच वर्क, नाइफ पेन्टिग, रंगो को मिश्रित करना आदि के बारे में बताया। विश्वविद्यालय के कुलपति आचार्य रविशंकर सिंह ने अयोध्या के सौन्दर्यीकरण से सम्बंधित छात्र-छात्राओं के द्वारा किये जा रहे चित्रण कार्यो की सराहना करते हुए उन्हें निरन्तर अच्छे चित्रण कार्यों के लिए प्रेरित किया और कहा फाईन आर्ट्स के छात्र-छात्राओं के लिए विश्वविद्यालय प्रशासन हर स्तर पर अपना सहयोग प्रदान करता रहेगा। विभाग के समन्वयक प्रो0 विनोद कुमार श्रीवास्तव ने बताया कि आॅयल पेन्टिग कार्यशाला से सम्बंधित आध्यात्मिक चित्रण कार्य पूरा हो चुका हैं जिसे ललित कला अकादमी लखनऊ के साथ समन्वय स्थापित करते हुए अयोध्या के प्रमुख स्थानो पर चित्रित कर दिया जायेगा। इस कार्यशाला में सक्रिय सहयोग देने वाले छात्र-छात्राओं में मानसी श्रीवास्तव, आनन्द कुमार वर्मा, सुनिधि, सत्यम गुप्ता, अभिषेक पटेल, बृजेश कौशल, विमल सिंह, कविता कुमारी, अकांशा चैधरी, करिश्मा, दीपा ने अपना सराहनीय योगदान प्रदान किया। कार्यशाला सौन्दर्यीकरण से सम्बंधित पेन्टिग कार्यशाला के दौरान प्रो0 आशुतोष सिन्हा, प्रो0 मृदुला मिश्रा, डाॅ0 प्रिया कुमारी, डाॅ0 अलका श्रीवास्तव, कर्मचारियों में विजय कुमार शुक्ला, शिव शंकर यादव, एवं अन्य लोगो ने छात्र-छात्राओं का उत्साहवर्धन किया।
Also read

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here