मोटापे से बचने के लिए रेशायुक्त अनाज एवं मौसमी फल खाएं : प्रोफेसर चतुर्वेदी

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अवधनामा संवाददाता

 प्रयागराज । उत्तर प्रदेश राजर्षि टंडन मुक्त विश्वविद्यालय के स्वास्थ्य विज्ञान विद्या शाखा के तत्वावधान में सरस्वती परिसर स्थित लोकमान्य तिलक शास्त्रार्थ सभागार में मोटापा मानव जीवन के लिए खतरा विषय पर व्याख्यान देते हुए मुख्य अतिथि प्रोफेसर सुनंदा चतुर्वेदी, प्राचार्य, हेमवती नंदन बहुगुणा राजकीय पीजी कॉलेज, नैनी, प्रयागराज ने कहा कि रेशेयुक्त भोजन एवं मौसमी फलों का उपयोग करके मोटापे से बचा जा सकता है। प्रौढ़ावस्था में वजन घटाना बहुत मुश्किल होता है इसलिए मोटे अनाज को अपने आहार में स्थान देंगे तो मोटापे से दूर रहेंगे। डॉ चतुर्वेदी ने कहा कि खानपान की आदतों में सुधार लाए बिना मोटापा पर नियंत्रण नहीं किया जा सकता। खानपान की आदतों में सुधार के साथ ही व्यायाम भी अत्यंत आवश्यक है। कोरोना काल में लोगों ने सक्रियता से प्राणायाम एवं अन्य व्यायाम करके अपनी जीवनशैली में सुधार किया। उन्होंने कहा कि वंशानुक्रम के आधार पर भी मोटापा होता है।
अध्यक्षता करते हुए कुलपति प्रोफेसर सीमा सिंह ने कहा कि मोटापा बीमारियां लेकर आता है। इसके लिए अपनी दिनचर्या के साथ ही मानसिकता को भी ठीक करना होगा। इसका सरल उपाय स्वयं खुश रहना और दूसरों को खुश रखना है जो कि लंबे जीवन का आधार है। प्रोफेसर सिंह ने कहा कि स्वस्थ जीवन चर्या, संतुलित आहार एवं शारीरिक सक्रियता से मोटापे पर नियंत्रण पाया जा सकता है।
प्रारंभ में विषय प्रवर्तन स्वास्थ्य विज्ञान विद्या शाखा के निदेशक प्रोफेसर गिरिजा शंकर शुक्ल ने किया। पर कहा कि शरीर कोशिकाओं का समुच्चय है। अगर इसमें तारतम्य बिगड़ा तो मोटापे के गिरफ्त में आ जाते हैं।
व्याख्यान का संचालन डॉ मीरा पाल तथा धन्यवाद ज्ञापन  अमित कुमार सिंह ने किया।

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