ठेकेदार ने लगाया पालिकाध्यक्ष पर भुगतान के बदले धन की मांग का आरोप

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जनपद की ए क्लास की नगर पालिका परिषद टांडा अब भ्रष्टाचार के मामले में भी ए क्लास हो रही है नगर पालिका परिषद टांडा में जहां अभी भ्रष्टाचार के एक के बाद एक खुलासे हो रहे है वहीं एक ठेकेदार ने मुख्यमंत्री जन सुनवाई पोर्टल पर शिकायत कर पालिकाध्यक्ष पर ही भुगतान के बदले धन घूस की मांग का आरोप लगा दिया है जिसपर उक्त शिकायत का निस्तारण तो नगर पालिका टांडा की तरफ से कर दिया गया लेकिन धन मांगने के आरोप का खंडन नहीं किया गया जिसकी चर्चा नगर में आम है।

नगर पालिका परिषद टांडा के ठेकेदार फिरोज अख्तर पुत्र स्व नियाज़ अहमद ने मुख्यमंत्री जन सुनवाई पोर्टल पर शिकायत संख्या 40017825009537 पर की गई शिकायत में आरोप लगाया है की प्रार्थी ने सरकार की बहुमूल्य योजना पण्डित दीन दयाल उपाध्याय आदर्श नगर पंचायत योजना के अन्तर्गत वार्ड नंबर 24 मोहल्ला छज्जापुर में इसरार के मकान से लेकर अर्शे आलम के मकान तक इण्टर लॉकिंग का कार्य मेरे द्वारा कराया गया था जिसके भुगतान की समस्त औपचारिकताएं पूरी कर ली गई थी लेकिन नगर पालिका टांडा की अध्यक्ष शबाना नाज द्वारा उक्त कार्य का भुगतान नहीं किया जा रहा है जबकि उसका पीपीए भी जनरेट कर दिया गया था लेकिन पालिकाध्यक्ष द्वारा उक्त भुगतान के लिए अतिरिक्त धन घूस की मांग कर रही है और कह रही है कि तुम बहुत शिकायत कर रहे हो जाओ अब जिसकी योजना है।

उसी से मतलब प्रदेश सरकार से भुगतान करा लो मैं किसी भी कीमत पर भुगतान नहीं करूंगी ऐसी शिकायत ठेकेदार फिरोज अख्तर ने की थी जिसका निस्तारण नगर पालिका टांडा ने करते हुए निस्तारण आख्या में लिखा है कि उक्त निर्माण कार्य ठेकेदार द्वारा कराया गया है अध्यक्ष महोदया द्वारा प्रदान की गई स्वीकृति के क्रम में पी एफ एम एस पोर्टल पर भुगतान हेतू पीपीए जनरेट किया गया जिसपर विभाग द्वारा हस्ताक्षरोंपरान्त समस्त औपचारिकताएं पूर्ण कर अध्यक्ष महोदया के समक्ष हस्ताक्षर हेतु प्रस्तुत किए जाने के पश्चात अध्यक्ष महोदया द्वारा त्रुटि वश हस्ताक्षर नहीं होने के कारण उक्त भुगतान किया जाना सम्भव नहीं हो सका चूंकि उक्त निर्माण कार्य पण्डित दीन दयाल उपाध्याय आदर्श नगर पंचायत योजना से आच्छादित है जिसकी उपयोगिता की समयवृद्धि प्राप्त होने के उपरान्त नियमानुसार भुगतान कर दिया जायेगा। ऐसे में सवाल यह उठता है कि जब सभी लोग जानते है कि पैसा सरकार की अति महत्वपूर्ण योजना का है और अगर वित्तीय वर्ष समाप्त होने से पहले भुगतान नहीं किया गया तो यह धन वापस चला जायेगा ऐसे में इस ठेकेदार का भुगतान न करना कई सवाल खड़े कर रहा है।

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