सुप्रीम कोर्ट ने उत्तराखंड के एक मेडिकल कॉलेज को निर्देश दिया है कि वो उन 91 छात्रों के मूल दस्तावेज लौटाए जो फीस के बकाये का भुगतान नहीं कर सके थे। चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली बेंच ने ये आदेश दिया।
सुनवाई के दौरान छात्रों ने ये भरोसा दिया कि वे बकाये फीस का भुगतान कर देंगे। सुप्रीम कोर्ट ने देहरादून के श्री गुरु राम राय इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल एंड हेल्थ सायंसेज कॉलेज को निर्देश दिया कि वे छात्रों को साढ़े सात लाख रुपये लेकर उनका मूल दस्तावेज दें। मेडिकल कॉलेज ने पांच लाख रुपये सालाना फीस बढ़ाकर 9.78 लाख रुपये कर दी थी। यहां से एमबीबीएस का कोर्स पूरा करके इंटर्नशिप करने वाले छात्रों ने कॉलेज के इस फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी थी। इन छात्रों के मूल दस्तावेज कॉलेज प्रशासन नहीं दे रहा था। इसकी वजह से वे न तो नीट-पीजी की काउंसलिंग में शामिल हो पा रहे थे और न ही किसी अस्पताल में प्रैक्टिस कर पा रहे थे। उसके बाद छात्रों ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था।