अवधनामा संवाददाता
अयोध्या। गायत्री पब्लिक स्कूल रेवतीगंज में आजाद हिंद फौज के संस्थापक और स्वतंत्रता संग्राम के महानायक सुभाष चंद्र बोस की जयंती धूमधाम से मनाई गई। प्रशासनिक अधिकारी प्रभा शंकर शुक्ल ने मां सरस्वती और बोस जी की प्रतिमा के समक्ष पुष्पांजलि और दीप प्रज्वलित कर कार्यक्रम की शुरुआत की। प्रबंधक उमाशंकर शुक्ल और प्रधानाचार्या शिखा दूबे ने बोस जी के चरित्र और संघर्ष पर विस्तार से प्रकाश डाला। उमेश पांडेय और आर डी पांडेय ने कहा कि बोस जी के पिता और कटक के प्रसिद्ध वकील जानकी नाथ ने अंग्रेजों से प्राप्त ‘रायबहादुर’ की उपाधि लौटा दी थी जिसके बाद सुभाष जी के मन में अंग्रेजों के प्रति और अधिक नफरत का भाव पैदा हुआ। दृढ़ इच्छा संकल्प के धनी और राष्ट्र कर्म के मार्ग पर प्रशस्त सुभाष जी तीव्र बुद्धि के धनी थे। भारतीय राजनीति में भी सुभाष जी का काफी योगदान रहा। राजनीति में आने से पूर्व उन्होंने आईसीएस से इस्तीफा दिया था। आजादी की लड़ाई में संघर्ष के प्रति अपने स्पष्ट उद्देश्य के कारण इन्होंने राजनीति से भी किनारा कर लिया और 5 जुलाई 1943 को ‘आजाद हिंद फौज’ का गठन किया। इस अवसर पर सड़क सुरक्षा शपथ दिलाने के साथ-साथ उत्साह से लबरेज विद्यालय के बच्चों द्वारा बनाई गई मानव श्रृंखला आकर्षण का केंद्र रही। कार्यक्रम में राम सूरत तिवारी, नीलम और हंस राज यादव आदि मौजूद रहे।