Thursday, April 25, 2024
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एक्सक्लूसिव-पाँच साल भूखे पेट सोने पर मजबूर रहे गरीब-read full story

अधिकारियो और पूर्व विधायक की शय पर पाँच साल भूखे पेट सोने पर मजबूर रहे गरीब
जिला पूर्ति अधिकारी की मिली भगत से राशन की होती रही कालाबाजारी
टाण्डा अम्बेडकरनगर।शासन सत्ता की हनक में अधिकारियो को अपनी मुट्ठी में रखकर राशन माफिया पाँच साल तक गरीबो के हिस्से के अनाज से अपनी जेब भरते रहे और गरीब भूखे पेट सोने को मजबूर होता रहा ।जिला पूर्ति अधिकारी और पूर्व सपा विधायक की मिली भगत से पाँच साल तक गरीब जनता के मुँह का निवाला छीनकर उन्हें उनके हक़ से महरूम रखा गया इस पाँच साल के अन्दर जिसने भी अपना हक़ माँगने की कोशिश की उसको दुत्कार कर भगा दिया गया और शिकायत करने पर जेल तक भेजने की धमकी दी गई लेकिन जब कुछ लोगो ने इसके बावजूद इस जुल्म के खिलाफ आवाज उठाई तो अधिकारियो के साथ मिलकर उनकी आवाज को दबा दिया गया और पाँच साल तक उनको केन्द्र सरकार की महत्वपूर्ण योजना से वंचित रहना पड़ा लेकिन अब सत्ता बदलने के बाद पूर्व विधायक के ही गांव की यह गरीब जनता अब अपना हक़ मांगने के लिए उठ खड़ी हुई है और उत्तर प्रदेश की नवनियुक्त सरकार के अधिकारियो से जब न्याय की गुहार लगाई गई तो अधिकारी इनको न्याय देने की बजाये फिर एक बार जाँच करने के नाम पर लटकाने में लग गए है।जाँच करने वही अधिकारी पहुँचे है जिन्होंने पाँच साल तक इस पूर्व विधायक की हाँ में हाँ मिलाने का काम किया है।क्या इन जाँच अधिकारियो से जनता को न्याय मिल पायेगा और जिन लोगो ने इन गरीबो को पाँच साल भूखे पेट सोने पर मजबूर कर दिया उनको सजा मिल पायेगी यह देखने वाली बात होगी।
                  मामला टाण्डा विधानसभा के ग्राम भुलेपुर का है जहाँ पर पूर्व विधायक अजीमुलहक पहलवान की शय पर जिला पूर्ति अधिकारी उबैदुर्रहमान की मिली भगत से पाँच साल तक गरीब जनता के मुँह के निवाले को छीनने का काम किया गया है यहाँ पर जिला पूर्ति  अधिकारी की मिली भगत से पूर्व में चल रहे राशन के कोटे को पहले निलंबित कराया गया बाद में उनको निरस्त कराकर गांव से दूर के कोटेदारों से अटैच करवा दिया गया लेकिन राशन गरीब परिवारो को नहीं दिया गया बल्कि उसकी ब्लैक मार्केटिंग कर गरीबो के हक़ को जमकर लूटा गया ।
              ग्राम भुलेपुर में सन् 2012 में फजले करीम शमशाद अहमद मजिदुन्नीशां की सरकारी सस्ते राशन गल्ले की दुकान थी जहाँ से गरीबो को अनाज मिलता था लेकिन 2012 में सपा सरकार बनने के बाद फर्जी शिकायत कराकर उक्त तीनो कोटो को निलंबित कराया गया और बाद में उसे अपने चहेते कोटेदारों के यहाँ सेमउर खानपुर अजीमुद्दीन बरही में राजेन्द्र प्रसाद और नारायणपुर प्रीतम पुर आस मोहम्मद की दुकान से अटैच करवा दिया गया लेकिन इन कोटेदारों ने कभी अपने यहाँ से गरीब जनता को राशन नहीं दिया बल्कि यहाँ पर मिलने वाले राशन को पूर्व विधायक के परिवार के लोग व उनके चट्टे बट्टे गरीबो के अनाज को उठाकर अपने कुछ चहेते लोगो को देकर बाकी राशन को बेच लेते थे जिसकी शिकायत कई बार ग्रामीणों ने किया लेकिन शासन सत्ता की दबाव में कभी किसी अधिकारी की हिम्मत ही नहीं हुई की वह इन शिकायतों पर कार्यवाही करता बल्कि उल्टा शिकायत करने वालो को ही प्रताड़ित किया जाने लगा लेकिन शासन सत्ता बदलने के बाद गांव के शमशाद अहमद सहित सैकड़ो लोगो ने जिनमे  22 लोगो ने शपथ पत्र लगाकर 175 पन्ने की शिकायत जिलाधिकारी से किया जिसपर जिलाधिकारी ने चार सदस्यीय जाँच टीम गठित कर शिकायतों की जाँच करने भेजा जिसपर शनिवार को खड़ी दोपहर में जब जाँच टीम गांव में पहुची तो सैकड़ो लोग अपनी शिकायत दर्ज करवाने प्राइमरी पाठशाला भुलेपुर में पहुँच गए और अधिकारियो को घेर कर अपना दुखड़ा सुनाया लेकिन इस मौके पर मौजूद ग्रामीणों ने बताया की पाँच साल तक शासन सत्ता के दबाव में उनको राशन नहीं दिया गया बल्कि जब वह राशन मांगने गए तो उन्हें गाली देकर भगा दिया गया ग्रामीणों ने बताया की उनके हिस्से के राशन को पूर्व विधायक अजीमुलहक पहलवान के भाई एहतेशामुल हक़ व उनके गुर्गे बेचकर खा जाते थे और जिन्होंने भी इनके खिलाफ आवाज उठाई तो उन्हें जेल भेजने की धमकी देकर उनकी आवाज को बन्द करने का काम किया गया ।शिकायत करने पहुँची महिलाओ ने आरोप लगाया की उन्हें पाँच साल तक राशन नहीं दिया गया किसी तरह वह पाँच साल अपना जीवन यापन करती रही उनको केवल सरकार बदलने का इन्तेजार था क्योकि वह जानती थी की पाँच साल सपा सरकार में उनको राशन मिलने वाला नहीं है क्योकि यह जब भी विधायक के पास राशन की शिकायत को लेकर जाती तो यह कहकर भगा दिया जाता की तुम लोगो ने हमको वोट नहीं दिया था तुमलोगो को राशन नहीं मिलेगा।वही जाँच टीम पहुचने की सूचना मिलने के बाद पूर्व विधायक अजीमुलहक पहलवान के भाई भी प्राथमिक पाठशाला भुलेपुर में पहुच गए और अधिकारियो के सामने ही शिकायत करने वाली जनता पर भड़क गए और कहने लगे की जब पाँच साल बसपा सरकार थी उसने अपने हिसाब से राशन बॅटवाया सपा सरकार में हमने अपने हिसाब से राशन बाँटा और अब भाजपा सरकार है वह अपने हिसाब से राशन बांटेगी और  वही पर लोगो को ललकारने लगे की अगर हिम्मत थी तो सपा सरकार में क्यों नहीं शिकायत किया तुम लोगो को देख लूँगा।अब सबसे बड़ा सवाल ये खड़ा होता है की सरकार की सबसे महत्वाकांक्षी योजना राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम का ये हश्र होता रहा और अधिकारी चुपचाप देखते रहे | उससे बड़ी बात ये की पाँच  साल तक गरीबो को मिलने वाला राशन ब्लैक होता रहा और किसी भी शिकायत पर कोई कार्यवाही ही नहीं हुईं ऐसा बिना अधिकारी के मिलीभगत से संभव नहीं हो सकता | सरकार गरीबो का पेट भरने के लिए राष्ट्रिय खाद्य सुरक्षा अधिनियम का कानून बनाया और इस योजना में हजारो करोड़ों रुपए खर्च करती है पर इन योजना का फायदा गरीबो तक कैसे पहुँचे जब उसके अधिकारी ही नेता के साथ मिलकर बट्टा लगाने पर तुले हो और गरीबो के निवालों पर डाका डाल रहे हो तो यह योजना गरीबो तक कैसे पहुँचेगी इसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है की जब पूर्व विधायक अज़ीमुलहक़ पहलवान के खुद के गाँव का यह हाल रहा जहाँ पर पांच साल तक गरीबो को राशन नहीं दिया गया तो क्षेत्र के  दूसरे इलाकों में क्या राशन का सही वितरण हो रहा रहा था यह एक प्रश्न है।और सबसे बड़ी बात तो यह है  की अब वही अधिकारी जांच कर रहें है जो कभी शिकायत होने पर मुड़कर भी इन गरीबों की तरफ देखते तक नहीं थे | पर अब वही अधिकारी जांच कर रहें है तो जांच को कितना आंच आएगी ये तो वक्त बताएगा लेकिन सवाल तो उठता है की पाँच साल तक जिला पूर्ति अधिकारी और पूर्व विधायक जिस तरह से गरीबो को भूखे पेट सोने पर मजबूर करते रहे क्या उन्हें सजा मिलेगी या फिर यह अधिकारी फिर अपनी पहुँच और पैसे के बल पर नई सरकार में भी पैठ बना लेंगे यह तो आने वाला वक्त  बताएगा
गरीबो के राशन की कालाबाजारी में जिला पूर्ति अधिकारी की रही मुख्य भूमिका
टाण्डा अम्बेडकरनगर।जिला मुख्यालय पर तैनात जिला पूर्ति अधिकारी उबैदुर्रहमान की गरीबो के राशन की कालाबाजारी में मुख्य भूमिका रही है इन्होंने ने पैसे के लालच और जनपद में अपनी तैनाती को लेकर हमेशा सत्ताधारी दल के नेताओ के करीबी रहे है। और उन्ही नेताओ को खुश करने के लिए जिला पूर्ति अधिकारी ने नियम कानून को ताक पर रखकर सपा नेताओ के साथ मिलकर सरकारी राशन की दुकानों को निरस्त कर उनको दूसरी जगह अटैच करके गरीबो के राशन को लूटने का काम किया है। जिला पूर्ति अधिकारी पहले टाण्डा विधानसभा में सप्लाई इस्पेक्टर थे और बाद में पूर्व विधायक अजीमुलहक पहलवान की दया से ही यह जनपद में ए आर ओ के तैनात हुए और यही से उनको प्रमोशन देकर जिला पूर्ति  अधिकारी बनाया गया लेकिन पूर्व विधायक की शय पर इनके ऊपर पाँच साल तक कोई आँच तक नहीं आई और यह पूरे पाँच साल तक समाजवादी सरकार में मनमानी करते रहे और इसी मनमानी के बल पर कोटेदारो के साथ मिलकर गरीबो के राशन को डकारते रहे लेकिन अब सरकार बदलने के बाद जब पाँच साल तक गरीबो के राशन को बेचने का मामला सामने आया तो जाँच भी वही अधिकारी कर रहे है जो पूर्व विधायक के करीबी रहे है।अब देखना यह है की जिला पूर्ति अधिकारी उबैदुर्रहमान और इनके अधिकारियो को क्या सजा मिलती है यह देखना बाकी है।
क्रासर
जिन्होंने वोट नहीं दिया और विरोध किया उन्हें राशन क्यों देते
टाण्डा अम्बेडकरनगर।पाँच साल तक गरीबो को राशन न मिलने की जाँच करने पहुँचे टीम के गांव मे पहुँचने की सूचना मिलते ही पूर्व विधायक अजीमुहक़ पहलवान के भाई भी प्राथमिक पाठशाला भुलेपुर पहुच गए और शिकायत करने वाले लोगो को अधिकारियो के सामने ही डाँटने लगे उन्होंने मिडिया से बात करते हुए कहा की बसपा की सरकार में हमको 2 किलो चीनी तक नहीं मिली है और जिन लोगो ने हमको वोट नहीं दिया हमारा विरोध किया उन्हें राशन क्यों दिया जाये और मेरा कोई कुछ बिगाड़ नहीं पायेगा जिसको जो करना हो कर ले उन्होंने शिकायत कर्ताओ को ललकारते हुए कहा की पाँच साल की सपा सरकार में तुम लोगो की हिम्मत नहीं थी शिकायत करने की और इस शिकायत से भी हमारा कुछ नहीं बिगड़ेगा।
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