मण्डल स्तरीय खरीफ उत्पादकता गोष्ठी का हुआ आयोजन

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Divisional level Kharif productivity seminar organized

अवधनामा संवाददाता

कृषि उत्पादन आयुक्त ने किसानों को किया संबोधित

 ललितपुर (Lalitpur)। कृषि उत्पादन आयुक्त उ.प्र. शासन की अध्यक्षता में मण्डल स्तरीय खरीफ उत्पादकता गोष्ठी 2021 का आयोजन एन.आई.सी. योजना भवन लखनऊ से किया गया। गोष्ठी में कृषि राज्यमंत्री मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित रहे। गोष्ठी का सजीव प्रसारण बीडियों कॉन्फ्रेंन्सिग के माध्यम से एन.आई.सी. पर दिखाया गया। इसके पश्चात अपर मुख्य सचिव (कृषि) द्वारा खरीफ अभियान 2021 के सम्बन्ध में शासन के दिशा-निर्देशों के अनुरूप कृषकों को आवश्यक जानकारी प्रदान की एवं पराली प्रबन्धन हेतु प्रचार-प्रसार करने के निर्देश दिये तथा अनुदानित यंत्रों के टोकन जनरेट करने हेतु विज्ञापन द्वारा कृषकों को जागरूक करने के लिये निर्देशित किया। गोष्ठी में कृषि निदेशक सहकारिता ने खरीफ अभियान हेतु मण्डलवार रणनीति एवं प्रभावी बिन्दु पर चर्चा की। उन्होने कहा कि कृषि के विकास के लिये खेतों में डाले जाने वाली खाद एवं बीज का बिक्रय दुकानदारों द्वारा पी.ओ.एस. मशीन के माध्यम से ही होना चाहिये जिसमें किसी भी प्रकार की लापरवाही नहीं होना चाहिये। दुकान पर पी.ओ.एस.मशीन ठीक प्रकार से चलित अवस्था में होनी चाहिये।

कृषि के विकास के लिये कृषक उत्पादन संगठनों का गठन अति आवश्यक है। जिससे कृषकों को सामूहिक रूप से कृषि कार्य करने में सहजता होगी। वर्तमान समय में कोरोना महामारी के दौरान कृषि कार्य से सम्बन्धित सभी प्रतिष्ठान खुले रहेगे। इस अवसर पर निदेशक, बीज विकास निगम ने बताया कि कृषकों को समय से बीज का उठान एवं वितरण होना चाहिये जिससे किसानों को समस्या न हो, प्रबन्ध निदेशक, पी.सी.एफ. ने बताया कि जनपदों में उर्वरक की पर्याप्त उपलब्धता रखने के लिये जिलाधिकारी के माध्यम से प्रत्येक जिला स्तरीय कृषि अधिकारी पत्र प्रेषित करें, निदेशक पशुपालन द्वारा बताया गया कि कृषकों के विकास के लिये कृषि कार्य में लगे पशुओं का बीमा कराना अति आवश्यक है। तथा पशुओं को समय-समय पर टीकाकरण भी कराया जाये जिससे इन्हें खुरपका एवं मुहपका आदि जैसी घातक बीमारियों से ग्र्रसित न होना पड़े। गोष्ठी में निदेशक उद्यान ने कहा कि कृषक अपने खेत की मेड़ों पर फलदार बृक्षों को लगाये जिससे की उनकी आय में बृद्वि हो सके। कृषकों की आय दोगुनी करने के लिये ड्रिप, स्प्रिंकलर अनुदान पर उपलब्ध कराये जायेगे जिन पर छोटे कृषकों को 90 प्रतिशत एवं बड़े कृषकों को 80 प्रतिशत अनुदान देय होगा। कृषि राज्य मंत्री ने कहा कि कृषि विभाग में कृषकों के कल्याण के लिये जो योजना पूर्व से संचालित है वो आगे भी चलती रहेगी।

सरकार कृषकों के सहयोग के लिये पूर्णरूप से तत्पर है। उन्होने भारत सरकार द्वारा संचालित योजना प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना में बंचित कृषकों का डाटा ठीक कराकर लाभान्वित किये जाने हेतु निर्देश दिये। उन्होने कहा कि कृषि विभाग में कृषकों के कल्याण हेतु संचालित योजनाओं का अधिक से अधिक प्रचार होना चाहिये तथा प्रदेश में खाद बीज एवं दवाईयों की कमी नहीं होनी चाहिये। वर्तमान समय में गेहूॅ क्रय केन्द्रों पर सरकारी दामों पर गेहूॅ की खरीद की जा रही है। कहा की खेत-तालाबों की खुदाई समय से कराई जाये तथा पूर्ण से खुदे तालाबों की सफाई भी समय से कराई जाये ताकि तालाबों में अधिक से अधिक पानी एकत्र हो सके जिसका प्रयोग रबी फसलों की सिंचाई में किया जा सके। खाद बिक्री केन्द्रों पर दर एवं स्टाक की उपलब्धता का बोर्ड लगाया जाये जिससे कृषकों को असुविधा न हो, तथा जनपद में अन्ना पशुओं के प्रबन्धन हेतु प्रत्येक विकास खण्ड में मॉडल गौवंश स्थल बनाये जाये।

इस दौरान जिलाधिकारी, सीडीओ, एडीएम, डीडी कृषि, सभी विभागों के नोडल अधिकारी, कीरत बाबा, बाबूलाल दुबे, नवजीत शर्मा, पहाड सिंह, पुष्पेन्द्र सिंह बुन्देला, रामस्वरूप निरंजन प्रगतिशील कृषक उपस्थित रहे।

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