उरई (जालौन)।जुलाई माह में संचालित होने वाले विशेष संचारी रोग नियंत्रण अभियान (1 से 31 जुलाई) और दस्तक अभियान (11 से 31 जुलाई) की तैयारियों के मद्देनज़र जिलाधिकारी राजेश कुमार पाण्डेय की अध्यक्षता में विकास भवन के रानी लक्ष्मीबाई सभागार में एक महत्वपूर्ण बैठक का आयोजन किया गया। बैठक में संबंधित विभागों की भूमिका, जिम्मेदारियां और समन्वय सुनिश्चित करने हेतु आवश्यक दिशा-निर्देश जारी किए गए।जिलाधिकारी ने कहा कि दिमागी बुखार, वेक्टर जनित रोग, जल जनित बीमारियाँ और दस्त रोग जैसी समस्याओं से निपटने के लिए बहुविभागीय समन्वय और जनसहभागिता अत्यंत आवश्यक है। अभियान को प्रभावी बनाने हेतु सभी विभागों को स्पष्ट दायित्व सौंपे गए हैं।स्वास्थ्य विभाग को अभियान का नोडल विभाग नामित किया गया है।
विभाग रोग निगरानी, वेक्टर सर्वे, परीक्षण, निःशुल्क परिवहन, प्रचार-प्रसार, फॉगिंग और रिपोर्टिंग जैसे कार्यों की ज़िम्मेदारी निभाएगा। शहरी क्षेत्रों में सफाई व्यवस्था, फॉगिंग, नालियों की सफाई, हैण्डपम्प चिन्हांकन, शुद्ध पेयजल की व्यवस्था एवं मलिन बस्तियों में विशेष कार्यवाहियों का संचालन किया जाएगा। पंचायती राज एवं ग्राम्य विकास विभाग ग्राम प्रधानों को ग्राम स्तर पर नोडल की भूमिका दी गई है। ग्राम निगरानी समितियों, स्वच्छता अभियान, जलनिकासी, वेक्टर नियंत्रण, शौचालय निर्माण एवं स्वच्छ भारत मिशन की गतिविधियों पर जोर रहेगा।पशुपालन विभाग लेप्टोस्पायरोसिस जैसे रोगों की रोकथाम हेतु विभाग सूकर पालन स्थलों की सफाई, वैक्टर नियंत्रण, सूकर पालकों का प्रशिक्षण आदि करेगा। बाल विकास एवं पुष्टाहार विभाग आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों को प्रशिक्षण, कुपोषित बच्चों की पहचान, पोषण पुनर्वास, दस्तक अभियान में सहभागिता और जनजागरूकता की जिम्मेदारी दी गई है।
शिक्षा विभाग छात्रों व अभिभावकों को जागरूक करने, यूनिफॉर्म में बदलाव, विद्यालयों में रोग की सूचना देने, रचनात्मक प्रतियोगिताओं के माध्यम से बच्चों को अभियान से जोड़ने के निर्देश दिए गए। दिव्यांगजन सशक्तिकरण विभाग एईएस/जेई से दिव्यांग हुए बच्चों का सर्वे, पुनर्वास, उपकरण वितरण एवं समावेशी शिक्षा के लिए ज़रूरी संसाधन सुनिश्चित किए जाएंगे।कृषि एवं सिंचाई विभाग विभाग मच्छररोधी पौधों की खेती, कृंतक नियंत्रण, सिंचाई तकनीकों में सुधार, नहरों की सफाई और जल संरक्षण उपायों में सहयोग करेगा।
जिलाधिकारी ने सभी विभागों को सख्त निर्देश देते हुए अभियान को जनभागीदारी के साथ संचालित करने तथा ग्रामीण एवं शहरी दोनों क्षेत्रों में समन्वित रूप से कार्यवाही करने पर बल दिया।
इस अवसर पर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ नरेंद्र देव शर्मा, सीएमएस आंनद उपाध्याय, आदि सम्बंधित अधिकारी मौजूद रहे।