अवधनामा संवाददाता
आजमगढ़। दलितों एवं महिलाओं पर किए जा रहे अत्याचारों पर रोक लगाया जाए व एससी-एसटी अत्याचार निवारण अधिनियम को सख्ती के साथ लागू कराए जाने सहित 19 सूत्री मांग पत्र अखिल भारतीय खेत मजदूर यूनियन, अखिल भारतीय खेत और ग्रामीण मजदूर सभा, भारतीय खेत मजदूर यूनियन एवं दलित संघर्ष मुक्ति मोर्चा ने राष्ट्रपति को संबोधित ज्ञापन जिलाधिकारी को सौंपा। इस दौरान डीएम कार्यालय के बाहर प्रदर्शन के माध्यम से मांगों को पूर्ण कराए जाने की मांग किया।
उत्तर प्रदेश मजदूर यूनियन जिला कौंसिल आजमगढ़ के मखडू राजभर ने बताया कि खेत मजदूरों की ज्वलंत समस्याओं और दलित उत्पीड़न की समस्याओं को लेकर हम लोग मुखर है।
उप्र किसान सभा के प्रदेश अध्यक्ष इम्तेयाज बेग ने बताया कि हमारी मांगों में दलित अत्याचारों के खिलाफ फास्ट टै्रक कोर्ट की स्थापना कर दोषियों को कम से कम समय में मुकदमा चलाकर सजा दिलाई जाए, एससी-एसटी के बच्चों के को प्राइमरी से लेकर उच्च शिक्षा मुफ्त शिक्षा की व्यवस्था सुनिश्चित किया जाए, मैला उठाने की प्रथा पर रोक लगाने के साथ ही इसके लिए मजबूर लोगों को वैकल्पिक रोजगार की व्यवस्था किया जाए, दलित भूमिहीन परिवारों को प्राथमिकता के आधार पर भूमि वितरण की व्यवस्था किया जाए और वनाधिकार कानून को ईमानदारी से लागू किया जाए, शिक्षा स्वास्थ्य रोजगार एवं सार्वजनिक उपक्रमों के निजीकरण की प्रक्रिया पर रोक लगाई जाए, दलितों क लिए त्रिस्तरीय आरक्षण की व्यवस्था, निजी क्षेत्र में आरक्षण की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए, जातिविहीन समाज के लिए अंतर्जनपदीय विवाह की मान्यता प्रदान की जाए और प्रोत्साहन राशि देने के साथ ही अंतर्धामिक विवाह की मान्यता भी प्रदान की जाए आदि सहित 18 मांगे शामिल रहे।
इस अवसर पर दुर्बली राम, मखडू राजभर, सूबेदार, राजनरायन, जीयालाल, रामनेत, कामरेड मुरारी, कामरेड रामविलास, का0 रामदास, रामविलास चौहान आदि मौजूद रहे।