ललितपुर। शहर क्षेत्र में नगर पालिका द्वारा कराये जा रहे निर्माण कार्यों पर अब कितनी धनराशि खर्च की जा रही है, इसका ब्यौरा लोगों तक पहुंचे। इसके लिए लोकार्पण की शिला पट्टिका पर सम्बन्धित कार्यदायी संस्था, संस्तुतिकर्ता के अलावा निर्माण करने वाले ठेकेदार और निर्माण की कुल लागत की धनराशि का विवरण अंकित किया जाता रहा है। लेकिन कुछ समय से अब शिला पट्टिकाओं पर नेताओं, अधिकारियों के नाम तो अंकित हो रहे हैं, लेकिन निर्माण करने वाले ठेकेदार और निर्माण की लागत में लगने वाली धनराशि गायब है, जिससे लोगों को यह जानकारी भी सहज नहीं हो पा रही है कि किस ठेकेदार ने कितनी शासकीय धनराशि से उक्त निर्माण कार्य कराया है। इसके अलावा यह भी देखने योग्य है कि निर्माण कार्य कितने समय तक के लिए वैद्य माना जायेगा और कितनी तारीख को निर्माण कार्य किया गया, यह भी उल्लेख शिला पट्टिकाओं से नदारत है। लोगों का कहना तो यह भी है कि आमजन की नजर में यह धूल झोंकने का कार्य किया जा रहा है। यहां यह भी बताना आवश्यक है कि नगर पालिका परिषद में तैनात अधिकारियों व कर्मचारियों द्वारा लगातार बेहतर कार्यों को अंजाम दिया जा रहा है, लेकिन नेता नगरी के बाहरी दखल के कारण अब शहर का विकास थमता हुआ भी नजर आ रहा है। अब शहरवासियों ने जिला प्रशासन से जनहित में मांग उठायी है कि किसी भी नवनिर्माण में लगायी जाने वाली शिला पट्टिका पर सम्बन्धित ठेकेदार का नाम व उक्त निर्माण कार्य पर खर्च की गयी शासकीय धनराशि का विवरण भी आवश्यक रूप से अंकित कराया जाये, ताकि लोगों के बीच भी पारदर्शिता बनी रहे।
शिला पट्टिका से निर्माण की लागत व ठेकेदार का नाम गायब
लोगों को नहीं मालूम कि निर्माण में कितनी लगी शासकीय धनराशि
जनहित में लोगों ने उठायी लागत की रकम व ठेकेदार का नाम अंकित कराने की मांग
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