मुख्यमंत्री बाल सेवा योजना का हुआ शुभारम्भ 

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Chief Minister Child Service Scheme launched

अवधनामा संवाददाता 

कोविड 19 महामारी के दौरान अनाथ निराश्रित हुए बच्चों का सरकार रखेगी पूरा ख्याल
अनाथ बच्चों की शिक्षा, सुरक्षा के लिए प्रतिबद्ध है प्रदेश सरकार 
जनपद में चिन्हित किए गए है 143 अनाथ निराश्रित बच्चें, जिन्हे इस योजना का मिलेगा लाभ- जिलाधिकारी 
आगे भी इस योजना के तहत आवेदन लिए जाने व उन्हे लाभ पहुॅचाए जाने का डीएम ने दिया निर्देश  
देवरिया (Devariya) उत्तर प्रदेश मुख्यमंत्री बाल सेवा योजना कोरोना संक्रमण से अपने माता-पिता को खोने वाले बच्चो का सहारा बनेगी। उत्तर प्रदेश ऐसी योजना लागू करने वाला देश का प्रथम राज्य है। उक्त विचार राज्यपाल श्रीमती आन्नदीबेन पटेल ने व्यक्त किया। लोक भवन लखनऊ सभागार में आयोजित कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए उन्होने बताया कि उन्होने विश्वविद्यालय तथा डिग्री कालेज में अध्ययनरत माता-पिता विहीन बच्चों को गोद लेने के लिए सभी विभागाध्यक्षों एवं कुलपतियों को निर्देशित किया है। उन्होने कहा कि लड़कियों को विशेष रूप से समय-समय पर मार्गदर्शन की आवश्यकता होगी। इस अवसर पर उन्होने इस योजना के लोगों का बटन दबाकर अनावरण किया। उन्होने कहा कि बालिकाओं के विवाह के लिए इस योजना में रू0 1.01 लाख दिये जाने की सराहना करते हुए कहा कि यह विवाह योग्य होने पर कन्याओ के लिए विशेष लाभदायक होगा।
मा0 मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि इस योजना के अन्तर्गत कुल 4050 बच्चों को चिन्हित किया गया है, इसमें से 240 बच्चों के माता-पिता दोनो की मार्च 2020 से अब तक कोरोना के कारण मृत्यु हो गयी है। 3810 बच्चे ऐसे है, जिनके माता या पिता की कोरोना से मृत्यु हुयी है, ऐसे प्रत्येक परिवार को 4000 रूपया प्रतिमाह भरण-पोषण के लिए दिया जायेंगा। उन्होने सभी 4050 बच्चों के खाते में 4.86 करोड़ रूपये की धनराशि बटन दबाकर आनलाइन स्थानान्तरित किया। यह धनराशि प्रत्येक बच्चे के भरण-पोषण के लिए तिमाही किश्त 12000 रूपये खाते में दी गयी।  इस अवसर पर उन्होने कहा कि 18 वर्ष की आयु तक बच्चे के भरण-पोषण की व्यवस्था की जायेंगी। बच्चों को उनके उम्र के अनुसार बाल संरक्षण गृह में रखा जायेंगा। पढने वाले लड़को को अटल आवासीय विद्यालय तथा लड़कियों को कस्तूरबा गॉधी बालिका विद्यालय में प्रवेश दिलाया जायेंगा। उन्होने महिला एवं बाल कल्याण विभाग को निर्देश दिया है कि कोरोना काल में अन्य बीमारियों से मृत्यु होने पर माता-पिता को खोने वाले बच्चों को इस योजना का लाभ दिलाया जाय। साथ ही निराश्रित विधवा महिला को योजना के अन्तर्गत लाभ दिलाया जाय।         प्रदेश की महिला एवं बाल कल्याण मंत्री स्वाती सिंह ने सभी का स्वागत करते हुए योजना के बारे में विस्तार से जानकारी दिया। इस अवसर पर स्वास्थ्य एंव चिकित्सा मंत्री जय प्रताप सिंह, राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष विमला माथुर, बाल संरक्षण आयोग के अध्यक्ष डॉ0 विशेष गुप्ता, मुख्य सचिव राजेन्द्र कुमार तिवारी, अपर मुख्य सचिव एस0 राधा चौहान उपस्थित रहे। प्रमुख सचिव महिला एंव बाल विकास वी0 हेकाली झिमोमी ने सभी के प्रति धन्यवाद ज्ञापित किया।
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