अहमदाबाद: बोईंग [NYSE: BA], जैवेल एयरोस्पेस और लर्निंग लिंक्स फाउंडेशन ने आज
लर्न एंड अर्न के नए चैप्टर के शुभारंभ की घोषणा की। यह युवाओं का कौशल बढ़ाने का एक अनूठा कार्यक्रम है,
जिसका लक्ष्य गुजरात में एयरोस्पेस और निर्माण क्षेत्र में कुशल और नौकरीयोग्य वर्कफोर्स बनाना है।
इस कार्यक्रम में दूसरे बैच में 20 प्रशिक्षुओं की क्लास रूम ट्रेनिंग होगी। इसके बाद जैवेल एयरफोर्स में उन्हें ऑन द
जॉब ट्रेनिंग मिलेगी। यह सिलेबस एयरोस्पेस मैकेनिकल सेक्टर में मैकेनिकल और फैब्रिक टूलिंग पर फोकस होगा।
इस कार्यक्रम का लक्ष्य कर्मचारियों को तकनीकी और सॉफ्ट स्किल्स प्रदान करना है। प्रशिक्षण हासिल करने के
बाद प्रशिक्षु गुजरात के सूक्ष्म, लघु और मध्यम उपक्रमों में रोजगार के अवसर हासिल कर लाभ उठा सकेंगे।
बोईंग इंडिया के प्रेसिडेंट सलिल गुप्ते ने कहा, “एयरोस्पेस के निर्माण के क्षेत्र में अग्रिम पंक्ति के कर्मचारियों को
कौशल से लैस करने की जरूरत को बोईंग पूरा कर रहा है। इस तरह भारतीय एयरोस्पेस के विकास में बोईंग पूरी
तरह से सहयोग कर रहा है। अपने स्किल प्रोग्राम के नए चैप्टर के साथ हम अगली पीढ़ी में प्रतिभाओं को
प्रोत्साहित करेंगे और आत्मनिर्भर भारत और स्किल इंडिया के विजन के साथ गुजरात में एयरोस्पेस के इको
सिस्टम में कमर्चारियों के कौशल विकास में मदद करेंगे।”
अपनी शुरुआत से ही लर्न एंड अर्न प्रोग्राम से 188 व्यक्तियों को लाभ पहुंचा है। इसमें से 23 फीसदी लड़कियां
और 14 फीसदी पीडब्ल्यूडी थी। इससे लोगों को विभिन्न इंडस्ट्रीज में रोजगार हासिल करने में मदद मिली। ये
अनोखा कार्यक्रम है, जिसमें लक्ष्य इंडस्ट्री की जरूरत के मुताबिक रोजगार के योग्य प्रशिक्षण प्रदान कर इस क्षेत्र में
कुशल कर्मचारियों की कमी को दूर करना है। इससे कर्मचारियों को प्रॉडक्टिव वर्कफोर्स के रूप में रोजगार हासिल
करने में सहायता मिल सकती है। इस कार्यक्रम का उद्देश्य भारत सरकार की ‘स्किल इंडिया’ पहलों की तर्ज पर
देश में एयरोस्पेस के “इको सिस्टम” को बढ़ावा देना है।
जैवेल एयरोस्पेस के संस्थापक और सीईओ विपुल वाच्छानी ने कहा, “2019 में अपने सफल स्किल कार्यक्रम की
बुनियाद पर हम बोईंग और लर्निंग लिंक्स फाउंडेशन के साथ साझेदारी में अपना दूसरा स्किल प्रोग्राम लॉन्च कर
काफी प्रसन्न हैं। “इंस्पायर वन” में हमारी टीम पूरी तरह से डिजिटल मैन्युफैक्चरिंग के इकोसिस्टम के निर्माण के
सफर पर है। यह प्रयास युवा प्रतिभाओं को नए-नए कौशल सीखने और रचनात्मक सोच विकसित करने के लिए
आकर्षक अवसर प्रदान करेगा।”