अवधनामा संवाददाता
बूथ मैनेजमेंट को निखारने की कवायद में जुटी भाजपा
सबसे कमजोर 100 बूथ का जिम्मा सांसद को, सभी विधायक और जनप्रतिनिधियों का लक्ष्य भी निर्धारित
बाराबंकी। मेरा बूथ सबसे मजबूत के मंत्र पर काम करके चुनाव में अप्रत्याशित सफलता हासिल करने वाली भाजपा ने बूथ मैनेजमेंट को दोबारा निखारने की कवायद शुरू कर दी है। तीन चरणो में 31 जुलाई तक चलने वाले अभियान के लिए बुधवार को पार्टी कार्यालय पर बूथ सशक्तिकरण अभियान की कार्यशाला सम्पन्न हुई। अभियान से जुड़े चुनिंदा कार्यकर्ताओं को उद्घाटन सत्र में बड़ी एलईडी लगाकर अभियान की बारीकियों और मकसद से अवगत कराया गया। सत्र को सम्बोधित करते हुए प्रदेश महामंत्री अश्वनी त्यागी ने कहा कि 2024 के लोकसभा चुनाव की तैयारियों में पार्टी ने ताकत झोंक दी है। जिन बूथों पर पिछले चुनावों में पार्टी का प्रदर्शन अपेक्षा के अनुरूप नहीं रहा उस पर पार्टी फोकस कर रही है।उन्होंने कहा कि पार्टी के जनप्रतिनिधि सबसे कमजोर बूथों की जिम्मेदारी लेकर उन्हें मजबूत करने के उपाय करें। सी श्रेणी के बूथों को भी भौगोलिक, राजनैतिक एवं सामाजिक परिस्थितियों के हिसाब से दोबारा श्रेणीबद्ध करना होगा। इन बूथों के कमजोर होने की वजह भी तलाशनी होगी जिससे उनमें सुधार किया जा सके। उन्होंने लोकसभा व विधानसभा चुनावों में पार्टी की प्रचंड जीत का श्रेय सुशासन, गरीब कल्याण एवं सेवा के अतिरिक्त बेहतर बूथ मैनेजमेंट को दिया। इसके पूर्व जिला प्रभारी अर्चना मिश्रा ने कार्यशाला का वृत्त लिया एवं अभियान की शत-प्रतिशत सफलता के टिप्स कार्यकर्ताओं को दिए। द्वितीय सत्र में सभी विधानसभाओं के सबसे कमजोर बूथों को सूचीबद्ध किया गया। समापन सत्र को सम्बोधित करते हुए जिला अध्यक्ष शशांक कुसुमेश ने बताया कि सांसद को सभी विधानसभाओं को मिलाकर 100 बूथ एवं प्रत्येक विधायक एवं जनप्रतिनिधि को 25 -25 सबसे कमजोर बूथ को दुरुस्त करने की जिम्मेदारी दी गयी है।इस अवसर पर सांसद उपेंद्र रावत, जिपं अध्यक्ष राजरानी रावत, एमएलसी अंगद सिंह, पूर्व विधायक शरद अवस्थी, महामंत्री शीलरत्न मिहिर, अरविंद मौर्य, गुरुशरण लोधी, संदीप गुप्ता, रचना श्रीवास्तव, विजय आनंद बाजपेई, डॉ अंजू चन्द्रा, अमरीश रावत, राजेश वर्मा, सरोज वर्मा, ओम प्रकाश वर्मा, श्रीश रावत, सुभाष जायसवाल, सर्वेश श्रीवास्तव, राजकुमार सोनी मौजूद रहे।
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