लखनऊ। अध्यात्म संस्था ब्रह्मकुमारी परिवार एवं दयाल ग्रूप द्वारा आयोजित “अध्यात्म द्वारा अनिश्चित्ता पर विजय” कार्यक्रम समाज में हर वर्ग एवं हर आयु के भीतर हर प्रकार की अनिश्चित्ता का समाधान किस प्रकार अध्यात्म द्वारा किया जा सकता है इस पर प्रकाश डाला जाएगा । अध्यात्म का शाब्दिक अर्थ है – ‘स्वयं का अध्ययन-अध्ययन-आत्म। इस विषय पर ब्रह्मकुमारी द्वारा विख्यात आध्यात्मिक शिक्षिका बहन शिवानी भी उपस्थित रहेंगी । राजयोगिनी शिवानी बहन जीवन के मूल्यों, आत्म-प्रबंधन, आंतरिक शक्तियों, रिश्तों में सामंजस्य, कर्म के कानून, उपचार, आत्म-सशक्तिकरण, आत्म-अनुशासन, संगठन के बारे में, आध्यात्मिकता और जीवन जीने की कला पर एवं अध्यातम के प्रति जागरूपता देंगी | कार्यक्रम का मूल स्वरूप हमारे भीतर चल रही हर प्रकार की अनिश्चित्ता का आध्यात्मिक स्वरूप से उत्तर देना होगा । अध्यात्म शब्द का अर्थ है आत्मा या आत्मा से संबंधित, सर्वोच्च आत्मा, स्वयं का, स्वयं से संबंधित, स्वयं या व्यक्तिगत व्यक्तित्व से संबंधित। समाज कार्य में राजेश सिंह के सौजन्य से अध्यात्म की ओर…एक नई कड़ी का आरम्भ |
उसी कड़ी में “अध्यात्म द्वारा अनिश्चित्ता पर विजय” कार्यक्रम 4 नवम्बर 2022 सायंकाल 6:15 बजे से रात्रि 8 बजे तक दयाल बाग, सुशांत गोल्फ़ सिटी में होना सुनिश्चहित हुआ है । इस दौरान राजेश सिंह ने कहा कि इस तरह के कार्यक्रम समय समय पर होने चाहिए जिससे हमारी संस्कृति एवं उनके आदर्श हमारे युवा पिढी तक भली भाति प्रसारित हो सके | मानवता के विकाश की ओर अग्रसरित प्रयाश में सहयोग के लिए ब्रह्मकुमारीज़ परिवार का आभार | लोगो से आग्रह किया कि ज्यादा से ज्यादा लोग जुड़ कर कार्यक्रम को सफल बनाये एवं प्रसारित करने की अपील भी किया |
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