जिले में11 लाख 48 हजार बच्चों एवं किशोर किशोरियों को दवा खिलाने का है लक्ष्य

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अवधनामा संवाददाता

25 जुलाई से प्रारम्भ होगा मापक राउण्ड
अयोध्या। जनपद के बच्चों एवं किशोरों को कृमि से मुक्ति दिलाने के लिए जनपद के सभी आंगनवाड़ी केन्द्रों और स्कूलों मे बुधवार से राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस प्रारम्भ हुआ । कनौसा गर्ल्स कान्वेंट स्कूल अयोध्या में मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ अजय राजा ने स्कूल की प्रधानाचार्य, टीचर के साथ स्कूल के बच्चों को एलबेंडाजोल की दवा खिलाकर अभियान का शुभारम्भ किया।
इस मौके पर मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने बच्चों को इस दिवस के महत्व और अभियान की जरूरत पर जानकारी दी। उन्होंने कहा कि इस दवा के इस्तेमाल से पेट के हानिकारक कीड़े नष्ट हो जाते हैं और इसका फायदा सबके बेहतर स्वास्थ्य के रूप में मिलता है। सभी बच्चों को साल में दो बार प्रत्येक छह माह के अंतराल पर एलबेंडाजोल की दवा खानी चाहिए। जिले के 1 से 19 साल तक के लगभग 11 लाख 48 हजार बच्चों एवं किशोरों को एलबेंडाजोल की दवा खिलायी जाएगी। मुख्य चिकित्सा अधिकारी डा. अजय राजा ने बताया कि राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस पर बच्चों के माता-पिता को भी स्कूल में बुलाया जाए एवं उनकी उपस्थिती में बच्चों को दवा दी जाए। इससे पैरेंट्स के भी बीच इसके प्रति जागरूकता बढ़ेगी । साथ ही इससे संबन्धित पोस्टर एवं बैनर को भी स्कूल परिसर में लगाया जाए ताकि इसका उचित प्रचार एवं प्रसार भी हो सके
कृमि मुक्ति दिवस को सफ़ल बनाने के लिए स्वास्थ्य विभाग,शिक्षा विभाग,महिला एवं बाल विकास,पंचायतीराज विभाग,अल्पसंख्यक विभाग, समस्त निजी विद्यालय एसोशिएशन अध्यक्ष एवं एविडेन्स एक्शन सहयोग प्रदान करेंगे । साथ ही 25 से 27 जुलाई को मॉप-अप किया जाएगा जिसमें छूटे हुये बच्चों को दवा खिलाई जाएगी । डॉ मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. अजय राजा ने बताया कि कृमि मुक्ति दिवस के सफल संचालन में आशा, आंगनवाड़ी, एएनएम को शामिल किया गया है। एक वर्ष से दो वर्ष के बच्चों को एल्बेंडाजोल की आधी गोली पीसकर खिलानी है वहीं दो वर्ष से 19 वर्ष के बच्चों को एल्बेंडाजोल की 1 गोली चबाकर खानी है । छह से 19 वर्ष के बच्चों को एल्बेंडाजाल-400 मिलीग्राम की एक गोली चबाकर पानी के साथ अध्यापकों के सामने खिलायी जाएगी। आंगनबाड़ी केन्द्रों पर एक से दो साल के बच्चों को एल्बेंडाजाल-400 मिलीग्राम की आधी गोली चूरा करके तथा दो से तीन साल के बच्चों को एक गोली चूराकर पानी के साथ आंगनबाड़ी कार्यकर्ता द्वारा खिलायी जाएगी। इसके अलावा चार से पांच साल के बच्चे एक गोली चबाकर पानी के साथ लेंगे। साथ ही दवा आंगनबाड़ी केन्द्रों और स्कूलों में ही खिलायी जाएगी, घर ले जाने के लिए नहीं दी जाएगी। इसके साथ ही जो बच्चे बीमार हैं अथवा पहले से कोई दवा ले रहे हैं, उन्हें इस अभियान के तहत दवा नहीं खिलायी जाएगी।
पेट के कीड़े की दवा एल्बेंडाजाल के फायदे
एनीमिया में कमी एवं पोषण स्तर में वृद्धि, बच्चों में शारीरिक वृद्धि और वजन बढ़ना, मानसिक एवं शारीरिक विकास में बढ़ोत्तरी, अन्य बिमारियों से बचने हेतु प्रतिरोधी क्षमता बढ़ना, स्कूल में उपस्थिति बढ़ने में सहायक होना और बच्चों की याददाश्त में वृद्धि और स्कूल में सक्रिय रहना।
इस अवसर पर अर्बन नोडल अधिकारी डा. राम मणि शुक्ला, डीएचईआईओ वीपी सिंह, डीपीएम राम प्रकाश पटेल, डीसीपीएम अमित कुमार, , जिला समन्व्यक आरकेएसके सतीश वर्मा , डीईआईसी मैनेजर डा. हम्माद , एनयूएचएम के जिला समन्वयक सुशील वर्मा , एवं विद्यालय स्टाफ के सदस्य मौजूद रहे ।
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