बिहार में मकर संक्रांति के शुभ मुहूर्त पर कड़ाके की ठंड के बीच आस्‍था की डुबकी

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पटना: (Patna) बिहार में गुरुवार (Thursday) को मकर संक्रांति (Makar Sankranti) का महापर्व Mahaparva धूमधाम से मनाया जा रहा है। सुबह में नदी घाटों पर स्‍नान-दान व पूजा के साथ असकी शुरुआत हो चुकी है। पटना (Patna) सहित पूरे बिहार (Bihar) में में श्रद्धालु (Faithful )गंगा सहित अन्‍य नदी घाटों पर स्‍नान कर मंदिरों (Temples )में पूजा (prayer) कर तिल (Mole )से बनी वस्तुओं का दान कर रहे हैं। एहतियातन स्‍नान (Precautionary measure )के दौरान नदियों में नौका परिचालन (Boat operation )पर रोक लगा दी गई है। नदी घाटों पर पुलिस (Police) की तैनाती की गई है।

सूर्य का मकर राशि में प्रवेश

मकर संक्रांति (Makar Sankranti) के दिन सूर्य (Sun) का मकर राशि (Capricorn_ में प्रवेश के साथ खरमास समाप्‍त हो गया है। संक्रांति (Sankranti) के दिन सूर्य (Sun) के दक्षिणायन (Dakshinayan) से उत्तरायण (Uttarayan )होने के साथ खरमास (Kharmas )का समापन हो गया है। बनारसी पंचांग (Banarsi Almanac) के हवाले से ज्योतिषाचार्य (Astrologer) पीके युग ने बताया कि 16 दिसंबर से जारी खरमास गुरुवार (Thursday)को अपराह्न 2.05 बजे सूर्य के मकर राशि (Capricorn ) में प्रवेश के साथ समाप्‍त हो रहा है। दूसरी ओर मिथिला पंचांग (Mithila almanac) के अनुसार सूर्य का 2.03 बजे मकर राशि (Capricorn ) में प्रवेश होगा। इस बीच सूर्योदय Sunrise के बाद से मकर संक्रांति (Makar Sankranti) का पर्व 9 Festival) आरंभ हो चुका है।

स्नान-दान में लगे श्रद्धालु,

पौष महीने में पड़ने वाले मकर संक्रांति ( Makar Sankranti) के दिन भगवान भास्कर (Bhagwan Bhaskar) और विष्णु (Visnu) पूजा का विशेष महत्व है। माना जाता है कि इस दिन सूर्य (Sun) को अ‌र्घ्य (Arghy) देने से शरीर निरोग होता है तथा यश (Yash) मिलता है।

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