जिले में बेतवा और यमुना नदियों के उफान ने जनजीवन को पूरी तरह से अस्त-व्यस्त कर दिया है। इसी बीच शुक्रवार को एक युवक की बेतवा नदी के बाढ़ के पानी में डूबकर मौत हो गई। हादसे से गुस्साए परिजनों और ग्रामीणों ने शव को सड़क पर रखकर राष्ट्रीय राजमार्ग जाम कर दिया और प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी की।
घर से निकला और बहाव की चपेट में आ गया युवक
प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार युवक किसी कार्यवश घर से बाहर निकला था, तभी उसका पैर फिसला और वह तेज बहाव में बह गया। स्थानीय ग्रामीणों और मछुआरों की मदद से उसे पानी से निकाला गया, लेकिन तब तक उसकी मौत हो चुकी थी।
प्रशासन पर लापरवाही का आरोप, लोगों का फूटा गुस्सा
घटना के बाद परिजनों ने प्रशासन पर राहत और बचाव कार्यों में लापरवाही का आरोप लगाते हुए शव को हाईवे पर रखकर जाम कर दिया। काफी देर तक आवागमन बाधित रहा। जाम के चलते सड़क पर दोनों ओर वाहनों की लंबी कतारें लग गईं। सूचना पर पहुंची पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों ने लोगों को समझाकर जाम खुलवाया और शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा।
बेतवा और यमुना का कहर जारी
हमीरपुर जनपद में बेतवा और यमुना नदियां खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं। जिले के निचले इलाकों में बाढ़ का पानी घुसने से दर्जनों गांव जलमग्न हो गए हैं। खेतों में खड़ी तिल, अरहर जैसी खरीफ फसलें पूरी तरह तबाह हो चुकी हैं। वहीं, कई घरों में पानी भर जाने से लोग स्कूलों और ऊंचे स्थानों पर शरण लेने को मजबूर हैं।
प्रशासन सतर्क, लेकिन चुनौतियां बरकरार
प्रशासन द्वारा राहत शिविरों में भोजन, पानी और चिकित्सकीय सहायता की व्यवस्था की जा रही है, लेकिन कई इलाकों में अब भी पर्याप्त राहत नहीं पहुंच पाई है। जिला प्रशासन ने प्रभावित क्षेत्रों में निगरानी बढ़ा दी है और लगातार गश्त की जा रही है।