लखनऊ। नवाबों की नगरी में कुछ इस अंदाज़ में मना गणतंत्र दिवस, उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में महिलाओं व बच्चों ने गणतंत्र दिवस पर एक नया इतिहास रच दिया है। महत्वपूर्ण बात ये है कि अवध की तारीख में पहली बार हुसैनाबाद के घंटाघर पर झंडारोहण किया गया। पुराने लखनऊ में हुसैनाबाद स्थित घंटाघर मैदान पर सीएए और एनआरसी का विरोध लगातार 10 वे दिन भी जारी रहा।
महिलाओं के धरना-प्रदर्शन के बीच आज प्रर्दशन कर रहीं महिलाओं, बच्चों व समजस्वी संस्थाओं ने हर्ष व उल्लास के साथ गणतंत्र दिवस मनाया। हजारों की संख्या में मौजूद महिलाओं व बच्चों संग पुरुषों ने राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा फहराए जाने पर राष्ट्रगान गाया।
बता दें कि, जहां एक तरफ आज पूरे देश में गणतंत्र दिवस मनाया जा रहा है। वहीं आज मानों घंटाघर पर महिलाओं व बच्चों में गणतंत्र दिवस के अवसर पर कुछ अलग ही उत्साह देखने को मिला।
वहीं बच्चों व महिलाओं ने इस अवसर को बड़े ही धूमधाम से मनाया। वहीं एक झलक तो यह रही कि मानों बच्चे यहां प्रदर्शन नहीं आजादी का जश्न मना रहे हों, लेकिन झंडा रोहण करने के बाद एक बार उन बच्चों व महिलाओं में सीएए व एनआरसी को विरोध करते हुए नारेबाजी की।
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महिलाओं ने घंटाघर पर ध्वजारोहण किया। आजादी के तराने गाये। महिलाओं ने पिछले जुमे को दोपहर दो बजे से सीएए के खिलाफ प्रदर्शन शुरू किया था। इसके बाद से महिलाएं दिन-रात लगातार प्रदर्शन कर रही हैं। वहीं मौलाना डॉ. कल्बे सादिक ने महिलाओं के प्रदर्शन का समर्थन किया। उन्होंने कहा कि ये काला कानून है। महिलाओं की भीड़ में रोज इजाफा होता जा रहा।
सुबह से ही महिलाएं सीएए के खिलाफ जमकर नारेबाजी करती रहीं। उसके अलावा जुमे की नमाज के बाद उलमा ने महिलाओं के आंदोलन को सही बताया। मौलाना खालिद रशीद ने कहा कि हर किसी को संवैधानिक तरीके से प्रदर्शन करने का हक है। मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के सदस्य एडवोकेट ज़फरयाब जिलानी घंटाघर पहुंचे और वहां प्रदर्शन कर रहीं महिलाओं को अपना समर्थन दिया।
काजी ए शहर मुफ्ती अबुल इरफान मियां फरंगी महली और अन्य गणमान्य धरनास्थल पहुंचे। शायर इमरान प्रतापगढ़ी भी घंटाघर पहुंचे। घंटाघर पहुंचकर इमरान प्रतापगढ़ी ने महिलाओं का हौसला बढ़ाया।
पुलिस का रवैया तानाशाही भरा
डॉ. कल्बे सादिक के पुत्र कल्बे सिबतैन ने कहा कि पुलिस मनमानी कार्यवाही कर रही। लोगों की आवाज दबाने की कोशिश की जा रही है। हम धरने के समर्थन में गए थे। कोई जुलूस नहीं निकाला। सरकार कितनी कोशिश कर ले आंदोलन जारी रहेगा।
उजरियांव में भी प्रदर्शनकारी महिलाओं से पुलिस की नोंकझोक हुई
गोमतीनगर में सुबह प्रदर्शन कर रही महिलाओं की संख्या कम होने पर पुलिस ने उनको हटाने का प्रयास किया। इन महिलाओं की पुलिस से नोकझोंक होने के बाद दर्जनों की संख्या में यहां महिलाएं दोबारा धरने पर बढ़ गईं।
महिला पुलिसकर्मियों समेत भारी पुलिस बल मौके पर मौजूद रहा। यहां भी महिलाओं ने झण्डारोहण किया। एसीपी गोमतीनगर संतोष कुमार, एसीपी कैंट बीनू सिंह समेत भारी पुलिस बल मौके पर मौजूद। गोमतीनगर, विभूतिखंड और चिनहट की फोर्स मौके पर तैनात की गई। जानकारों के मुताबिक एडवा की प्रदेश अध्यक्ष मधु गर्ग अपने दल के साथ महिलाओं का समर्थन करने पहुंची।
बताते चलें कि, नौ दिनों से लगातार चल रहे लखनऊ के घंटाघर पर महिलाओं का विरोध प्रदर्शन आज भी जारी है। नागरिकता संशोधन कानून और एनआरसी के खिलाफ खुले आसमान के नीचे शांतिपूर्ण तरीके से बैठकर महिलाएं सरकार से अपने हक की आवाज उठा रही हैं। आज हजारों की तादाद में महिलाओं के साथ पुरुषों ने भी गणतंत्र दिवस को मनाने में सहयोग किया है। महिलाओं ने आज संविधान दिवस के दिन संविधान बचाने की लड़ाई जारी रखी और उन सभी का कहना है कि हमारी लड़ाई संविधान को बचाने की है और आज गणतंत्र दिवस के दिन भी हम सभी की लड़ाई जारी रहेगी।
आपको बता दें कि, राजधानी के एतिहासिक स्थल घंटाघर पर महिलाओं का लगातार 10 दिनों से एनआरसी, सीएए व एनपीआर को लेकर विरोध प्रदर्शन किया जा रहा है। वहीं पुलिस प्रशासन भी लगातार क्लार्क टावर (घंटाघर) से हटाने का प्रयास किया गया, लेकिन उसके बावजूद 10 दिनों से महिलाओं ने भारी संख्या में उपस्थित रहकर इस विरोध को लगातार जारी रखा।