इस्लामिक क्विज में मौलानाओ ने विजेताओं को इनाम बाटे
बाराबंकी। वक्फ बड़ेल कर्बला सिविल लाइंस में जश्ने इमाम-ए-सज्जाद और इस्लामिक क्विज के 10 के और 11 के विनर सीजन का इनामी प्रोग्राम आयोजित हुआ। जिसकी तैयारियां एक माह से चल रही थी। कार्यक्रम में हिंदुस्तान के मशहूर मौलाना व इस्लिमक स्कॉलर और शायरों ने अपना कलाम पेश किया। इमाम सज्जाद इस्लामिक क्विज़ के सरपरस्त मुजाहिद हुसैन नक़वी की देख रेख में ग्रुप में इस्लामिक सवाल जवाब चल रहा था। प्रोग्राम में जहाँ ग्रुप के तमाम मेंबर्स मौजूद थे वहीँ बैरूनी कई ओलमा और शख्सियतें दिखाई दी इस प्रोग्राम को जिस खूबसूरती के साथ पूरा किया गया वो इन्होने अपनी बेहतरीन टीम जिसमे मंज़र अब्बास, मोहम्मद मेहदी, अहमद रज़ा, सिबतैन आब्दी सरे फेहरिस्त रहें।
कार्यक्रम सुबह लगभग 10 बजे मौलाना हिसाल अब्बास ने तिलावते कलामे पाक से शुरू किया। उसके बाद डॉ रज़ा मौरान्वी,मीर रायपुरी, मज़हर उन्नावी, शुजा अब्बास जायसी, बाक़र नक़वी, कशिश संदीलवी, अजमल किन्तुरी, डॉक्टर मुहिब रिज़वी, आरिज़ जरगावीं, कलीम आज़र, मोहम्मद नक़वी जायसी, हैदर आब्दी, मोहम्मद आबान हुसैन और कियान के अलावा अन्य शायरों ने नजरनाये अकीदत पेश किया। कार्यक्रम बाद बाद मौलानाओ व इस्लामिक स्कॉलर ने इस्लाम के बारे में बताया। महफ़िल समाप्ति के बाद साहित्य संस्कृति पर आधारित प्रश्नोत्तरी में विजेताओं को पुरस्कृत से सम्मानित किया गया। इस मौके पर प्रोफ़ेसर ग़ुलाम अब्बास मुख़र्जी, मौलाना सय्यद मुजाहिद रज़ा ज़ैदी, मौलाना कुमैल अब्बास, मौलाना मुजाहिद रज़ा ज़ैदी, मौलाना आयाज़ हुसैन आलमपुरी, मौलाना रज़ा रिज़वी ज़ैदपुरी, मौलाना जाबिर अली अंसारी आदि लोग मौजूद रहे। प्रोग्राम में आये हुवे सभी मेहमानों का ग्रुप एडमिन गुलफाम हैदर आब्दी, सिब्तेन आब्दी, मंज़र अब्बास, ने शुक्रिया अदा किया
इस्लाम प्यार मोहब्बत का पैगाम देती: अब्बास मुखर्जी
हिंदुस्तान जाने माने इस्लामिक स्कॉलर कोलकता से आये गुलाम अब्बास मुखर्जी ने इस्लाम और आतंकवाद पर रोशनी डालते हुवे का की बेगुनाहों का खून बहाने वाले का इस्लाम से कोई वास्ता नही है क्योंकि इस्लाम प्यार मोहब्बत का पैगाम देती है नाकि किसी मासूम का खून बहना इसका इस्लाम कतई इजाजत नही देता। उन्होंने आगे कहा कि अभी हाल ही में कश्मीर के पहलगाम में जिस तरह इंसानियत का खून बहाया गया उसकी जितनी मज्जमत कि जाए कम है, लेकिन उसमें कुछ मुसलमान ऐसे भी थे जिन्होंने अपनी जान पर खेलकर हमारे हिन्दू भाइयों की जान भी बचाई है। श्री अब्बास ने आगे कहा कि फिलिस्तीन में जिस तरह मासूम बच्चो का इज़राइल ने कत्लेआम मचाया, लेकिन उन्हें बचाने वाला कोई भी मुस्लिम देश आगे नही आया सिवाए ईरान के ईरान ही एक अकेला देश है जिसने इज़राइल के खिलाफ आवाज़ बुलन्द की।
अल्लाह में मनने वाले कभी दूसरे को तकलीफ नही देते: अब्बास
इस्लामिक स्कॉलर सय्यद मुद्दसिर अब्बास ज़ैदी ने इस्लाम के बारे में बताया कि आज के दौर में जहाँ कुछ लोग अफवाहों पर ध्यान देते है जिससे अमन चैन में खलल डालने का काम करते है। उन्होंने आगे कहा कि मौला के मानने वाले कभी किसी को तकलीफ नही देते है बल्कि मुसीबत के एक दूसरे की मदद करते है। श्री ज़ैदी ने कहा अभी हाल में ही कश्मीर में आतंकवादियों द्वारा बेगुनाह इंसानों पर अंधाधुंध गोलियां चलकर लोगो का खून बहाया। इसकी जितनी मज्जमत करे वो कम है, लेकिन वहाँ मौजूद कुछ कश्मीरी सय्यद आदिल हुसैन शाह जो शिया समुदाय का है उसने अपनी जान खेलकर कुछ लोगो की जान बचाई।
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