बांग्लादेश में जारी राजनीतिक उथल-पुथल और हिंसा के चलते सीमा पर घुसपैठ की संभावना बढ़ गई है। इस स्थिति से निपटने के लिए बीएसएफ ने बांग्लादेश से लगती हजारों किलोमीटर लंबी सीमा को सील कर दिया है और सुंदरबन इलाके में सुरक्षा बढ़ा दी है। बीएसएफ के डीजी दलजीत सिंह चौधरी ने सोमवार को ही सीमा क्षेत्रों का निरीक्षण किया और सुरक्षा स्थिति की समीक्षा की। मंगलवार को बीएसएफ के वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि सुंदरबन क्षेत्र में समुद्र और नदी भारत बांग्लादेश के बीच प्राकृतिक सीमा रेखा है। यहां विशेष तौर पर सतर्कता बरती जा रही है और किसी भी तरह की घुसपैठ को रोकने के लिए विशेष निगरानी वोट तैनात किए गए हैं।
बीएसएफ की खुफिया रिपोर्टों के अनुसार, बांग्लादेश में अस्थिरता और हिंसा बढ़ने के साथ-साथ वहां के कई निवासी प्रभावित हो रहे हैं। इस कारण कुछ लोग भारत में घुसपैठ करने की कोशिश कर सकते हैं, जिसमें भारतविरोधी तत्व और आतंकवादी भी शामिल हो सकते हैं। इसलिए, बीएसएफ ने सीमा पर तत्काल सुरक्षा बढ़ाने का निर्णय लिया है और सोमवार दोपहर तक पूरे बांग्लादेश सीमा को सील कर दिया है। इसके बाद रात के समय पर अतिरिक्त निगरानी बढ़ाई गई है क्योंकि ऐसे ही समय पर घुसपैठ की आशंका बनी रहती है।
बीएसएफ सूत्रों के मुताबिक, देश के अन्य क्षेत्रों से भी अतिरिक्त जवानों को पूर्वी क्षेत्र में तैनात किया जा रहा है। विशेष ध्यान नदी और समुद्री मार्गों पर दिया जा रहा है ताकि इन मार्गों से होने वाली घुसपैठ को रोका जा सके। रात में भी नदी सीमाओं की निगरानी के लिए जवानों को नाइट विजन बाइनोकुलर दिए गए हैं।
अधिकारी ने बताया कि तीन अगस्त को एसएसबी के डीजी दलजीत सिंह चौधरी ने बीएसएफ के अतिरिक्त डीजी का कार्यभार संभाला और उत्तर 24 परगना और सुंदरबन की सीमाओं का दौरा किया। उनके साथ बीएसएफ के अतिरिक्त डीजी रवि गांधी, दक्षिण बंगाल के आईजी मनिंदर प्रताप सिंह और अन्य अधिकारी भी थे। उन्होंने नदी और समुद्री मार्गों की सुरक्षा की जांच की और सुरक्षा बढ़ाने के निर्देश दिए।
सुंदरबन में घुसपैठ की संभावना को देखते हुए बीएसएफ ने वहां के सभी जलयानों पर कड़ी निगरानी रखी है। जवान दिन और रात में स्पीडबोट से गश्त कर रहे हैं ताकि किसी भी तरह की घुसपैठ को रोका जा सके।